US-Indian market :- ‘रैली में बिकवाली’ वाली संरचना अक्टूबर में बदलने की संभावना है। अक्टूबर आमतौर पर अमेरिकी और भारतीय दोनों बाजारों के लिए एक अनुकूल महीना है। ऐसे संकेत हैं कि यह ऐतिहासिक प्रवृत्ति इस अक्टूबर में भी जारी रह सकती है। जियोजित फाइनेंशियल सर्विसेज के मुख्य निवेश रणनीतिकार वी.के. विजयकुमार ने ये बात कही है। डॉलर में बढ़ोतरी, अमेरिकी बॉन्ड यील्ड और ब्रेंट क्रूड की ‘तिहरी मार’ के कम होने के हैं।
यदि यह प्रवृत्ति जारी रहती है तो इससे बाजार में सुधार होगा। उन्होंने कहा, गुरुवार को अमेरिकी बाजार में स्थिरता भी एक सहायक कारक हो सकती है। एफआईआई की लगातार बिकवाली का बाजार पर असर जारी रह सकता है। इस महीने एफआईआई की 25,000 करोड़ रुपये की बिकवाली से बैंकिंग शेयरों में गिरावट आई है। उन्होंने कहा, बैंकिंग सेगमेंट के दूसरी तिमाही के नतीजे अच्छे रहेंगे और बाजार इस पर सकारात्मक प्रतिक्रिया दे सकता है। उन्होंने कहा, आज रात आने वाली अपेक्षित यूएस पीसीई मुद्रास्फीति डेटा महत्वपूर्ण है क्योंकि यह अमेरिकी मुद्रास्फीति और ब्याज दरों के आगे के रास्ते का संकेत दे सकता है।
शुक्रवार को बीएसई सेंसेक्स 169 अंक ऊपर 65,677 अंक पर है। कारोबार में एनटीपीसी 3 फीसदी से ज्यादा ऊपर है। प्रभुदास लीलाधर में तकनीकी अनुसंधान की प्रमुख वैशाली पारेख का कहना है कि सुबह के सत्र में सकारात्मक नोट पर खुलने के बाद निफ्टी में भारी गिरावट आई। जैसे-जैसे दिन आगे बढ़ा, निफ्ट 19,550 के महत्वपूर्ण स्तर से नीचे टूट गया। यदि सूचकांक आने वाले सत्र में 19,550 क्षेत्र से नीचे बना रहता है, तो इसका अगला प्रमुख समर्थन क्षेत्र 19,250 होगा। पारेख ने कहा, दिन के लिए समर्थन 19,400 के स्तर पर देखा गया है जबकि प्रतिरोध 19,700 के स्तर पर देखा गया है। (आईएएनएस)