लखनऊ | उत्तर प्रदेश के उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ( UttarPradesh Deputy Chief Minister Keshav Prasad Maurya ) का सुर बदल गया है। अब वे मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की तारीफ करने लगे हैं। गौरतलब है कि एक दिन पहले मंगलवार को मुख्यमंत्री उनके घर गए थे और उनके घर पर ही पार्टी व संघ के पदाधिकारियों की बैठक हुई थी। इस दौरान योगी आदित्यनाथ ने केशव प्रसाद मौर्य के बेटे और बहू से मुलाकात की और नव दंपति को आशीर्वाद दिया।
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इसके एक दिन बाद बुधवार को केशव प्रसाद मौर्य ने अपने उस बयान से किनारा कर लिया, जिसमें उन्होंने कहा था कि उत्तर प्रदेश में मुख्यमंत्री का चेहरा कौन होगा, यह दिल्ली ही तय करेगा। इस बयान के बाद अटकलें लगाई जा रही थीं कि भाजपा में सब कुछ ठीक नहीं है। इस बीच मुख्यमंत्री मंगलवार को मौर्य के घर पहुंचे, जिसके बाद उनके सुर बदल गए हैं। मौर्य ने कहा है कि वे और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ साथ थे, साथ हैं और साथ रहेंगे। यदि बीच में कोई दीवार आई तो उसे गिरा देंगे।
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केशव प्रसाद मौर्य ने मीडिया में आ रही उन तमाम खबरों को खारिज कर दिया, जिनमें यह बताया जा रहा था कि उनमें और योगी के बीच अनबन है। गौरतलब है कि मंगलवार को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ उनके घर पहुंचे थे। उनके साथ संघ के सर कार्यवाह दत्तात्रेय होसबाले, सह सर कार्यवाह कृष्ण गोपाल और दूसरे उप मुख्यमंत्री सीएम दिनेश शर्मा भी मौजूद थे। मौर्य के घर पर ही नेताओं ने भोजन किया और वहीं पर बैठक भी हुई।
ध्यान रहे इससे पहले करीब साढ़े चार साल में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ एक बार भी मौर्य के घर नहीं गए थे, जबकि दोनों का घर बहुत नजदीक है। तभी यह सवाल उठ रहा है कि चुनावी साल में ऐसा क्या हुआ कि मुख्यमंत्री को मौर्य के घर जाना पड़ा? मौर्य ( UttarPradesh Deputy Chief Minister ) ने पिछले दिनों मुख्यमंत्री का चेहरा प्रोजेक्ट किए जाने के मसले पर कहा था कि इसका फैसला चुनाव के बाद होगा। पार्टी के एक दो और नेताओं ने भी ऐसा ही बयान दिया था। तभी कहा जा रहा है कि संघ के पदाधिकारियों की पहल पर प्रदेश भाजपा के नेताओं की एकजुटता दिखाने के लिए मौर्य के घर पर सभी नेताओं को जुटाया गया।
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