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आज़म खान के लिए बहन जी ने दिखाई हमदर्दी, कहा- ये न्याय का गला घोंटना नहीं तो और क्या है...

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आज़म खान के लिए बहन जी ने दिखाई हमदर्दी, कहा- ये न्याय का गला घोंटना नहीं तो और क्या है...
लखनऊ | Mayawati On Azaam Khan : आजम खान को जेल में बंद हुए अब 2 साल से ज्यादा का समय हो गया है. ऐसे में सुप्रीम कोर्ट की टिप्पणी के बाद से भाजपा पर भी दबाव बढता जा रहा है. अब बहुजन समाज पार्टी (BSP) की अध्यक्ष मायावती ने जेल में बंद समाजवादी पार्टी (सपा) के वरिष्ठ विधायक आज़म खान के लिए बयान दिया है. बहन जी ने कहा है कि उत्तर प्रदेश भाजपा उसके साथ अन्याय किया है. मायावती ने सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव से नाराज बताए जा रहे आज़म के लिए हमदर्दी व्यक्त करते हुए गुरुवार को भाजपा शासित राज्यों में कांग्रेस सरकारों की तर्ज़ पर विरोधी दलों के नेताओं, ग़रीबों, दलितों और मुस्लिमों पर ज़ुल्म करने का आरोप लगाया. ट्वीट कर मायावती ने रखी अपनी बात Mayawati On Azaam Khan : इस संबंध में मायावती ने एक ट्वीट कर भी अपनी बात कही. उन्होंने कहा कि यूपी व अन्य भाजपा शासित राज्यों में भी, कांग्रेस की ही तरह, जिस प्रकार से टारगेट करके गरीबों, दलितों, अदिवासियों एवं मुस्लिमों को जुल्म-ज्यादती व भय आदि का शिकार बनाकर उन्हें परेशान किया जा रहा है. यह अति-दुःखद, जबकि दूसरों के मामलों में इनकी कृपादृष्टि जारी है. मायावती ने रामपुर से सपा विधायक आज़म खान का उदाहरण देते हुए कहा कि इसी क्रम में यूपी सरकार द्वारा अपने विरोधियों पर लगातार द्वेषपूर्ण व आतंकित कार्यवाही तथा वरिष्ठ विधायक मोहम्म्द आज़म खान को करीब सवा दो वर्षों से जेल में बन्द रखने का मामला काफी चर्चाओं में है. जो लोगों की नज़र में न्याय का गला घोंटना नहीं तो और क्या है... इसे भी पढें- हम भी वही कर रहे है, जो मुगलिया शासकों ने किया था..! रिहा होने की उम्मीद पर फिर गया पानी Mayawati On Azaam Khan : एक अन्य ट्वीट में बहन जी ने कहा कि देश के कई राज्यों में जिस प्रकार से दुर्भावना व द्वेषपूर्ण रवैया अपनाकर प्रवासियों व मेहनतकश समाज के लोगों को अतिक्रमण के नाम पर भय व आतंक का शिकार बनाकर, उनकी रोजी-रोटी छीनी जा रही है. वह अनेकों सवाल खड़े करता है जो अति-चिन्तनीय भी है.बता दें कि आज़म खान कई आपराधिक मामलों में पिछले दो साल से अधिक समय से जेल में बंद हैं. लगभग सभी लम्बित मामलों में उन्हें अदालत से ज़मानत मिलने के बाद हाल ही में दो साल पुराने फ़र्ज़ी दस्तावेज़ बनवाने के एक अन्य मामले में यूपी पुलिस ने उनके ख़िलाफ़ आरोप पत्र दायर कर दिया. इससे उनके जेल से फ़िलहाल रिहा होने की उम्मीद पर पानी फिर गया इसे भी पढें- अभी सिर्फ पुनर्विचार है
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