सौगातों से चंबल साधने की कोशिश

सौगातों से चंबल साधने की कोशिश

भोपाल। ग्वालियर में अंबेडकर महाकुंभ मैं मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने अनुसूचित जाति वर्ग के लिए सौगातों की झड़ी लगा दी वही केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने अंबेडकर को विदेश में पढ़ाई कराने राज खोलते हुए ससुराल का योगदान बताया।

दरअसल, प्रदेश में 2023 के विधानसभा चुनाव की तैयारियों में जुटे दोनों ही प्रमुख भाजपा और कांग्रेस वोटरों को साधने के लिए कोई कसर बाकी नहीं छोड़ रहे। खासकर सत्तारूढ़ दल भाजपा एक तरफ जहां बूथ स्तर पर संगठन को मजबूत कर रही है। वहीं सरकार के निर्णय से सौगात दी जा रही हैं जैसा कि रविवार को ग्वालियर में आयोजित अंबेडकर महाकुंभ में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह ने ने सौगातों की झड़ी लगा दी। राज्य स्तरीय इस आयोजन में ग्वालियर सहित प्रदेश के विभिन्न जिलों के लगभग 61,43,00,000 लागत के बालक एवं बालिका छात्रावास भवनों का लोकार्पण एवं भूमिपूजन किया। साथ ही पोस्ट मैट्रिक छात्रवृत्ति योजना संत रविदास स्वरोजगार योजना एवं मुख्यमंत्री अनुसूचित जाति विशेष परियोजना के तहत प्रतीक स्वरूप 10 हितग्राहियों को हितलाभ भी वितरित किए।

सामाजिक समरसता और समाज के कमजोर वर्ग के लिए आयोजित इस कार्यक्रम में केंद्रीय मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर, ज्योतिरादित्य सिंधिया, भाजपा प्रदेश अध्यक्ष विष्णु दत्त शर्मा सहित शिवराज कैबिनेट के आधा दर्जन से अधिक मंत्री मौजूद रहे। इस महाकुंभ में ग्वालियर चंबल संभाग से पहुंचे हजारों लोगों की मौजूदगी में मुख्यमंत्री ने सौगातें दीं। वही केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने बड़ा खुलासा करते हुए कहा बाबासाहेब आंबेडकर को विदेश में पढ़ाई करने के लिए मेरी पत्नी के ससुराल वालों ने मदद की।

कुल मिलाकर प्रदेश में अनुसूचित जाति वर्ग किए 35 सीटें आरक्षित है और जो भी दल इन सीटों को जीतता है उसकी सरकार बन जाती है। मसलन 2003 में भाजपा ने 30 सीटें जीती और भारी बहुमत से सरकार बनाई। 2008 में 25 सीटें जीती जबकि कांग्रेस में 3 और बसपा 7 सीटें जीतने में सफलता प्राप्त की और भाजपा सरकार बनाने में सफल हो गई। इसी तरह 2013 में भाजपा ने 28 सीटें जीती कांग्रेसी 3 और बसपा ने 4 सीटें जीती जबकि 2018 में भाजपा 18 सीटें पर आ गई और कांग्रेस 15 सीटें जीतकर सरकार बनाने में सफल हो गई। बसपा ने 2 सीटें जीती और उसका समर्थन कांग्रेस को मिल गया। यही कारण है कि भाजपा और कांग्रेस इस वर्ग को लुभाने के लिए कोई कसर नहीं छोड़ रही है और ग्वालियर में अंबेडकर महाकुंभ करके भाजपा ने चंबल की चुनौती को कांग्रेस के लिए बढ़ा दिया है। चंबल ऐसा इलाका है जहां जाति समीकरण तेजी से बदलते हैं उत्तर प्रदेश से लगे होने के कारण यहां बसपा और सपा का भी प्रभाव रहता है इसलिए नगरी निकाय चुनाव में आप पार्टी ने भी अपनी ताकत यहां दिखाई है इस कारण सत्ताधारी दल भाजपा क्षेत्र में कुछ ज्यादा ही ताकत लगा रही है।

अंबेडकर महाकुंभ में दिग्गज नेताओं के साथ जिले के प्रभारी एवं जल संसाधन मंत्री तुलसीराम सिलावट, मंत्री जगदीश देवड़ा, प्रभुराम चौधरी, मीना सिंह, महेंद्र सिंह सिसोदिया, प्रद्युम्न सिंह तोमर और राज्य मंत्री भारत सिंह कुशवाहा, सांसद विवेक नारायण शेजवलकर, महापौर शोभा सिकरवार, जिला पंचायत अध्यक्ष दुर्गेश सिंह जाटव सहित राज्य शासन के विभिन्न निगम मंडलों के उपाध्यक्ष एवं जनप्रतिनिधि उपस्थित थे।

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