बिहार विधानसभा चुनाव में एनडीए में सीट बंटवारे के बाद सहयोगी दलों में कम सीटें मिलने को लेकर असंतोष है, लेकिन सभी सहयोगी दल एकजुट होकर चुनावी मैदान में उतरने को लेकर तैयार हैं।
इस बीच, एनडीए की मुख्य सहयोगी पार्टी हिंदुस्तानी आवाम मोर्चा के प्रमुख और केंद्रीय मंत्री जीतन राम मांझी ने कहा कि कम सीटें मिली हैं, लेकिन इसका यह मतलब नहीं कि बिहार को ‘जंगलराज’ की ओर धकेल दें।
केंद्रीय मंत्री जीतन राम मांझी ने सोशल नेटवर्किंग साइट एक्स पर लिखा, “माना कि हमें कम सीटें मिली हैं, हमारे कार्यकर्ताओं का मनोबल कमजोर हुआ है, कार्यकर्ताओं में घोर असंतोष व्याप्त है, जिसकी क्षतिपूर्ति भविष्य में होगी। इसका आश्वासन ही मैं कार्यकर्ताओं को दे पा रहा हूं।
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उन्होंने आगे लिखा, “लेकिन इसका मतलब यह नहीं कि बिहार को जंगलराज की ओर धकेल दें। बिहार के अवाम की रातों की नींद और दिन का चैन खत्म कर दें। बिहार के लिए, बिहारियों के लिए, बिहारियों के मान-सम्मान के लिए हम सब तैयार हैं, जीतेगा का एनडीए, बना रहेगा बिहार का सम्मान।
दरअसल, सीट बंटवारे के बाद एनडीए में नाराजगी की बात सामने आई थी। चर्चा बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के भी नाराज होने की थी। उल्लेखनीय है कि बिहार विधानसभा चुनाव के लिए एनडीए ने रविवार को सीट बंटवारे की घोषणा की है। इस बंटवारे के तहत मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की पार्टी जनता दल यूनाइटेड और भारतीय जनता पार्टी 101-101 सीट पर चुनाव लड़ेगी। जबकि केंद्रीय मंत्री चिराग पासवान की पार्टी लोजपा (रामविलास) को 29 सीट मिली हैं। पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी की हिंदुस्तानी आवाम मोर्चा (हम) और राज्यसभा सदस्य उपेन्द्र कुशवाहा की राष्ट्रीय लोक मोर्चा को छह-छह सीटें मिली हैं। बिहार विधानसभा चुनाव का पहला चरण 6 नवंबर को और दूसरा चरण 11 नवंबर को होगा। मतगणना 14 नवंबर को होगी।
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