पुणे। पुणे के पोर्श एक्सीडेंट केस में नए खुलासे के बाद दो डॉक्टरों को गिरफ्तार किया गया है। इनके अलावा एक अन्य व्यक्ति को भी हिरासत में लिया गया है। इस हाई प्रोफाइल केस में हर दिन नया मोड़ आ रहा है। अब पता चला है कि ससून जनरल हॉस्पिटल के फोरेंसिक डिपार्टमेंट के प्रमुख डॉ. अजय तावरे और डॉ. श्रीहरि हैलनोर ने नाबालिग आरोपी का ब्लड सैंपल ही बदल दिया था ताकि उसके ब्लड में अल्कोहल की मात्रा न मिले। इन दोनों को सोमवार की सुबह गिरफ्तार कर लिया गया।
सोमवार को गिरफ्तार तीसरे आरोपी का नाम अतुल घटकांबले है। उस पर आरोप है कि उसने डॉक्टरों की मदद की। पुलिस कमिश्नर अमितेश कुमार ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में बताया कि नाबालिग आरोपी के पिता विशाल अग्रवाल ने डॉक्टरों को ब्लड सैंपल बदलने के लिए घूस दी थी। डॉक्टरों ने वास्तविक ब्लड सैंपल डस्टबिन में फेंककर किसी अन्य व्यक्ति का सैंपल लेकर रिपोर्ट बनाई, जिससे नाबालिग के नशे में होने की बात छिपाई जा सके। पुलिस ने नाबालिग के पिता के खिलाफ धोखाधड़ी, आपराधिक साजिश और सबूतों से छेड़छाड़ का केस भी दर्ज किया है।
पुणे की अदालत ने 24 मई को नाबालिग आरोपी के पिता को सात जून तक न्यायिक हिरासत में भेजा दिया था। हालांकि, ड्राइवर के किडनैपिंग केस में सोमवार को पुलिस ने विशाल अग्रवाल को पुलिस की हिरासत में भेज दिया। बताया जा रहा है कि ड्राइवर पर दबाव डाला जा रहा था कि वह पुलिस के सामने जाकर कहे कि दुर्घटना के समय वह गाड़ी चला रहा था। इस मामले में नाबालिग आरोपी के साथ साथ उसके पिता और उसके दादा भी गिरफ्तार हैं।