Khatu Shyam Temple News: राजस्थान के सीकर जिले में स्थित विश्व प्रसिद्ध खाटू श्याम मंदिर में आगामी दो दिनों के लिए श्याम भक्तों के लिए मंदिर कमेटी ने एक महत्वपूर्ण सूचना जारी की है।
कमेटी ने बताया है कि 6 जनवरी की रात 9:30 बजे से लेकर 7 जनवरी की शाम 5:00 बजे तक मंदिर के पट बंद रहेंगे। श्याम भक्तों से आग्रह किया गया है कि वे अपनी दर्शन यात्रा इस सूचना के अनुसार प्लान करें, ताकि किसी भी असुविधा का सामना न करना पड़े।
मंदिर कमेटी ने पट बंद होने का कारण भी स्पष्ट किया है। उन्होंने बताया कि 7 जनवरी को खाटू श्याम बाबा की विशेष सेवा, पूजा और तिलक कार्यक्रम आयोजित किया जाएगा। भक्तों से निवेदन है कि इस विशेष आयोजन में बाबा श्याम का आशीर्वाद पाने के लिए संयम और श्रद्धा बनाए रखें।
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विशेष सेवा-पूजा के लिए पट बंद होंगे
खाटू श्याम मंदिर में आगामी 6 जनवरी की रात से 7 जनवरी की शाम तक दर्शन बंद रहेंगे। मंदिर कमेटी के अध्यक्ष पृथ्वी सिंह चौहान द्वारा जारी परिपत्र के अनुसार, 6 जनवरी की रात 9:30 बजे से लेकर 7 जनवरी की शाम 5 बजे तक मंदिर के पट बंद रहेंगे। इस दौरान खाटू श्याम बाबा की विशेष सेवा-पूजा और तिलक किया जाएगा।
यह ध्यान देने योग्य है कि खाटू श्याम मंदिर में हर अमावस्या और विशेष पर्व पर बाबा का तिलक और सेवा-पूजा आयोजित की जाती है। इस दौरान मंदिर में दर्शन के लिए पट बंद कर दिए जाते हैं, और यह प्रक्रिया आमतौर पर 19 घंटे तक जारी रहती है।
हालांकि, नए साल के मौके पर बाबा के दर्शन के लिए विशेष व्यवस्था की गई थी, जब लाखों भक्तों के लिए तीन दिनों तक 24 घंटे के लिए पट खोले गए थे।(Khatu Shyam Temple News)
अब, विशेष सेवा-पूजा के मद्देनजर इस बार 20 घंटे के लिए दर्शन बंद किए जाएंगे। भक्तों से निवेदन है कि वे इस सूचना का ध्यान रखें और मंदिर के पट खुलने के समय अनुसार दर्शन करने की योजना बनाएं।
कलियुग के देवता बाबा श्याम
खाटू श्याम बाबा के दर्शन के लिए हर साल भारत ही नहीं, बल्कि विदेशों से भी लाखों श्रद्धालु आते हैं। यह मंदिर हर साल लगभग एक करोड़ लोगों का स्वागत करता है, जो यहां आकर बाबा के दर्शन करते हैं और अपनी आस्थाओं को मजबूती प्रदान करते हैं।
खाटू श्याम बाबा के दर्शन के लिए देश के साथ विदेशों से भी हर साल लगभग एक करोड़ लोग आते हैं और यहां बाबा के र्दशन करते हैं.
श्याम बाबा को कलियुग के देवता कहा जाता है. श्याम बाबा का असली नाम बर्बरीक है, जिनकी कहानी महाभारत से जुड़ी हुई है.
श्याम बाबा का असली नाम बर्बरीक
खाटू श्याम बाबा को कलियुग के देवता के रूप में पूजा जाता है। उनका असली नाम बर्बरीक था, और उनकी कहानी महाभारत से जुड़ी हुई है।(Khatu Shyam Temple News)
बर्बरीक ने महाभारत युद्ध में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी और उनके बलिदान के कारण ही उन्हें श्याम बाबा के रूप में पूजा जाता है। बर्बरीक की महानता और त्याग की कहानी आज भी श्रद्धालुओं के दिलों में जीवित है।
कलियुग में आस्था का प्रतीक(Khatu Shyam Temple News)
श्याम बाबा की पूजा में श्रद्धा और भक्ति की विशेष भूमिका है, और उनके प्रति लोगों का अटूट विश्वास उनके दिव्य दर्शन और आशीर्वाद की प्रतीक है।
खाटू श्याम मंदिर में आने वाले भक्तों का मानना है कि बाबा की दर पर आकर हर संकट का समाधान होता है और जीवन में सुख-शांति का वास होता है।
खाटू श्याम मंदिर का महत्व केवल धार्मिक दृष्टि से नहीं, बल्कि लोगों के विश्वास और भक्ति के प्रतीक के रूप में भी बहुत बड़ा है।