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जोशीमठ भू धंसाव: खेतों में जहां दरारें पड़ीं, अब वहां हुए गड्ढे

चमोली/जोशीमठ। भू-धंसाव (landslide) से प्रभावित जोशीमठ (Joshimath) में मुसीबतें कम होने का नाम नहीं ले रही हैं। पिछले कुछ दिनों से भले ही मकानों (House) में नई दरारें आने का मामला सामने नहीं आया है, लेकिन जिन मकानों में पहले से दरारें (cracks) आई हैं वह अब झुकने लगे हैं। साथ ही कुछ जगहों पर जमीन में गड्ढे हो रहे हैं जिसने नगर के लोगों की चिंताओं को बढ़ा दिया है।

नगर के सिंहधार वार्ड में होटल माउंट व्यू और मलारी इन के पीछे के मकानों में पहले से दरारें आई हुई हैं, लेकिन अब दरारें बढ़ने लगी हैं और कुछ मकान भी झुकने लगे हैं। इस क्षेत्र के परिवारों को प्रशासन ने पहले ही नगर पालिका और गुरुद्वारे में बने राहत शिविरों में शिफ्ट किया हुआ है। इन घरों के अंदर और बाहर दरारें बढ़ रही हैं।

स्थानीय निवासी दिगंबर सिंह का कहना है कि अब मकान में दरारें काफी बढ़ गई हैं, जिससे उनका मकान तिरछा हो गया है। आपदा प्रभावित दीपक का कहना है कि घर में कॉलम धीरे-धीरे जगह छोड़ रहे हैं और दरारें लगातार बढ़ रही हैं।

वहीं अब नगर में जमीन और घरों में दरार आने के बाद जमीन में गड्ढे हो रहे हैं जो लोगों के लिए रहस्य बने हैं। ताजा मामला मनोहर बाग वार्ड के सती मोहल्ले का है। यहां पर विजय सती के घर के नीचे से एक गड्ढा बना है। विजय का कहना है कि पहले यह गड्ढा छोटा था, लेकिन यह धीरे- धीरे बड़ा होता जा रहा है। प्रशासन ने यहां से पहले ही लोगों को सुरक्षित स्थानों पर शिफ्ट किया हुआ है।

जोशीमठ एसडीएम कुमकुम जोशी, ने कहा कि, खेतों में जहां दरारें पड़ी हैं, वहां कई जगहों पर गड्ढे हुए हैं, रविग्राम सहित अन्य जगहों पर पड़े गड्ढों का सीबीआरआई की टैक्निकल टीम सर्वेक्षण कर रही है। सिंहधार वार्ड को पूर्व में ही असुरक्षित घोषित किया गया है, यहां लगातार भू-धंसाव पर नजर रखी जा रही है। यहां के आपदा प्रभावितों को पूर्व में ही राहत शिविरों में रखा गया है।

आपको बता दें कि, नगर में गड्ढे आने का यह पहला मामला नहीं है। यहां अन्य जगह पर भी इसी तरह के गड्ढे बन चुके हैं। सबसे पहला गड्ढा थाने के पीछे खेत में दिखाई दिया था। उसके बाद मनोहर बाग वार्ड में गड्ढा दिखाई दिया। साथ ही रविग्राम के कोठेला क्षेत्र में भी गड्ढा बना हुआ है। सभी जगह पर पहले छोटा गड्ढा बन रहा है। बाद में वह बड़ा होता जा रहा है। जगह-जगह हो रहे इन गड्ढों ने स्थानीय लोगों की चिंताएं बढ़ा दी हैं। (आईएएनएस)

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