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Bihar : Corona संक्रमण के चलते दूसरे राज्यों से लौटे प्रवासी मजदूरों की होगी मैपिंग, योग्यता के आधार मिलेगा रोजगार

ByNI Desk,
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Bihar : Corona संक्रमण के चलते दूसरे राज्यों से लौटे प्रवासी मजदूरों की होगी मैपिंग, योग्यता के आधार मिलेगा रोजगार
Patna | महाराष्ट्र सहित अन्य प्रदेशों में Coronavirus संक्रमण के रिकॉर्ड मामले आने और कई बंदिशों के बीच वहां रह रहे Bihar के लोग बड़ी संख्या में वापस आने लगे हैं। इन लोगों के वापस आने के लिए रेलवे द्वारा जहां विशेष ट्रेनें चलाई जा रही हैं, वहीं आ रहे मजदूरों के रोजगार के लिए बिहार सरकार (Bihar Government) को अब चिंता सताने लगी है। सरकार बाहर से आए मजदूरों को रोजगार देने के लिए पंचायत स्तर पर Mapping करने की योजना बनाई है। श्रम संसाधन विभाग के मंत्री जीवेश कुमार (Jeevesh Kumar) कहते हैं कि संक्रमण के मामले बढ़ने के बाद बड़ी संख्या में लोग बिहार लौट रहे हैं। ऐसे लोगों की पंचायतवार Mapping कराकर अकुशल श्रमिकों को मनरेगा (MNREGA) और कुशल लोगों को मुख्यमंत्री उद्यमी योजना (Minister Entrepreneur Scheme) से जोड़ा जाएगा। इसे भी पढ़ें :-UP Panchayat Election 2021: चुनाव के दौरान हुई हिंसक घटनाओं में चली लाठियां, मतदाताओं के नाम वोटिंग लिस्ट से गायब उन्होंने कहा कि Mapping होने से उनकी कार्यकुशलता की जानकारी विभाग के पास उपलब्ध हो जाएगी, जिससे उनको रोजगार देने में सहूलियत हो सकेगी। आने वाले लोग कहते हैं कि जिस तरह से पूरे देश में Corona संक्रमण के मामले बढ़ रहे हैं, उससे Lockdown की आशंका है, ऐसे में पिछले वर्ष जैसी स्थिति न हो, इस कारण हमलोग पहले ही अपने राज्य वापस लौट रहे हैं। श्रम विभाग के अधिकारी भी कहते हैं कि विभाग पंचायत स्तर पर आने वाले मजदूरों की Mapping का काम जल्द शुरू करेगा। उनकी दक्षता और क्षमता के हिसाब से संबंधित क्षेत्र में रोजगार और स्वरोजगार की व्यवस्था की जाएगी। उल्लेखनीय है कि पिछले वर्ष विभाग ने लौटे प्रवासी मजदूरों को सरकार की योजनाओं से जोड़ने के लिए एक पोर्टल विकसित किया था। पिछले वर्ष विभाग ने प्रवासी मजदूरों का निबंधन भी किया था। एकबार फिर ऐसी ही तैयारी विभाग द्वारा की जा रही है। विभाग के एक अधिकारी ने उदाहरण देते हुए बताया कि भवन निर्माण से जुड़े कामगार हैं, वे अपना निबंधन करा सकते है। इसमें राजमिस्त्री, मजदूर, इलेक्ट्रिशियन, प्लंबर सहित कुशल मजूदर अपना निबंधन करा सकते हैं। विभाग ने ग्रामीण कार्य विभाग, पथ निर्माण विभाग सहित कई अन्य विभागों से चल रहे कार्यो की सूची कार्यस्थल पर लगाने की सलाह दी है, जिससे काम मांगने वालों को कोई समस्या नहीं हो सके। इसे भी पढ़ें :-Rahul Gandhi का मोदी सरकार पर हमला, कहा- ‘ना टेस्ट है’, ना हॉस्पिटल में बेड, वैक्सीन भी नहीं है, बस उत्सव का ढोंग है उल्लेखनीय है कि पिछले वर्ष पश्चिम चंपारण (West Champaran) जिला प्रशासन ने कोरोना के आपदा में अवसर की तलाश करते हुए बाहर से आए कुशल मजदूरों की पहचान कर जिले में ही रोजगार के अवसर उपलब्ध कराने की योजना बनाई थी, जो आज एक मॉडल के रूप में विकसित हो गया है। श्रम संसाधन विभाग (Department of Labor Resources) इस मॉडल को अन्य क्षेत्रों में भी उतारने की योजना बना रही है। इसे भी पढ़ें :-बाप नहीं हैवान : नाबालिग बेटी से रेप कर बाप ने कान तक चबाए,  इसके बाद पड़ोसी ने….
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