श्रीनगर। पवित्र अमरनाथ गुफा के पास शुक्रवार की शाम को बादल फटने की घटना से भारी तबाही मची है। देर रात तक की खबरों के मुताबिक 13 लोगों की मौत हो चुकी है और 40 लोग लापता है। बादल फटने से पानी का प्रवाह इतना तेज था कि उनके लोग उसमें बह गए। बताया जा रहा है कि शुक्रवार की शाम को साढ़े पांच बजे के करीब जब यह घटना हुई तब पवित्र गुफा में करीब 15 हजार श्रद्धालु मौजूद थे। पहले भी ठीक इसी जगह पर बादल फटने की घटना हो चुकी है।
बादल फटने की घटना पवित्र अमरनाथ गुफा के करीब दो किलोमीटर के दायरे में हुई। बादल फटने के बाद पहाड़ों से तेज बहाव के साथ आए पानी से श्रद्धालुओं के लिए लगाए गए करीब 25 टेंट और दो से तीन लंगर बह गए। बारिश से पूरे इलाके में तेजी से पानी भर गया और कई लोग इसकी चपेट में आ गए। कई श्रद्धालु लापता हैं और उनके तेज बहाव में बहने की आशंका है। घटना के तुरंत बाद सेना के साथ साथ जम्मू कश्मीर पुलिस और अर्धसैनिक बलों ने राहत और बचाव कार्य शुरू कर दिया।
सेना के साथ साथ सीआरपीएफ, बीएसएफ, आईटीबीपी, एनडीआरएफ और एसडीआरएफ के जवान बचाव में लगे हैं। अंधेरा हो जाने और पानी का बहाव तेज होने की वजह से तलाश व राहत और बचाव कार्य प्रभावित हुआ है। एनडीआरएफ के महानिदेशक अतुल करवाल ने बताया कि लोगों को सुरक्षित निकाल कर कैंपों तक पहुंचाया जा रहा है। घायलों को एयरलिफ्ट करके अस्पताल ले जाया गया है।
हादसे के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जम्मू कश्मीर के उप राज्यपाल मनोज सिन्हा से बात की। उन्होंने हादसे पर दुख जताया और पीड़ित लोगों तक हर मुमकिन मदद पहुंचाने की बात कही। घटना के बाद केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने ट्विट किया- बाबा अमरनाथ जी की गुफा के पास बादल फटने से आई बाढ़ के संबंध में मैंने उप राज्यपाल मनोज सिन्हा जी से बात कर स्थिति की जानकारी ली है। लोगों की जान बचाना हमारी प्राथमिकता है। सभी श्रद्धालुओं की कुशलता की कामना करता हूं।
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