नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने 10 लाख लोगों की भर्ती के अभियान ‘रोजगार मेले’ (Rojgar Mela) की शुरुआत की। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कहा कि केंद्र सरकार शनिवार को 75,000 से अधिक लोगों को नियुक्ति पत्र देगी। अभियान के तहत 50 केंद्रीय मंत्री देश भर में विभिन्न स्थानों पर लगभग 20,000 लोगों को नियुक्ति पत्र (appointment letters) सौंपेंगे।
नरेंद्र मोदी ने कहा कि दस लाख लोगों की भर्ती के लिए शुरू किया गया ‘रोजगार मेला’ पिछले आठ वर्षों में रोजगार, स्वरोजगार के लिए सरकार के प्रयासों में महत्वपूर्ण मील का पत्थर है। उन्होंने कहा कि कोविड महामारी के दौरान केंद्र सरकार ने एमएसएमई क्षेत्र को 3 लाख करोड़ रुपये से अधिक की सहायता प्रदान की, जिसके चलते 1.5 करोड़ से अधिक नौकरियों पर से संकट टल गया है। श्री मोदी ने कहा कि विनिर्माण, पर्यटन क्षेत्र से बहुत सारे रोजगार पैदा होते हैं, सरकार इन क्षेत्रों के विस्तार पर ध्यान दे रही है।
मोदी ने कहा कि आज भारत की युवा शक्ति के लिए एक महत्वपूर्ण अवसर है। बीते आठ वर्षों में देश में रोजगार और स्वरोजगार का जो अभियान चल रहा है, आज उसमें एक और कड़ी जुड़ रही है। ये कड़ी है रोज़गार मेले की। आज केंद्र सरकार आजादी के 75 वर्ष को ध्यान में रखते हुए 75 हज़ार युवाओं को एक कार्यक्रम के अंतर्गत नियुक्ति पत्र दे रही है। बीते आठ वर्षों में पहले भी लाखों युवाओं को नियुक्ति पत्र दिए गए हैं लेकिन इस बार हमने तय किया कि इकट्ठे नियुक्ति पत्र देने की परंपरा भी शुरू की जाए। भारत सरकार में इस तरह का रोजगार मेला शुरू किया गया है। आने वाले महीनों में इसी तरह लाखों युवाओं को भारत सरकार द्वारा समय-समय पर नियुक्ति पत्र सौंपे जाएंगे। मुझे खुशी है कि एनडीए शासित कई राज्य और केंद्र शासित प्रदेश भी और भाजपा सरकारें भी अपने यहां इसी तरह रोज़गार मेले आयोजित करने जा रहे हैं। जम्मू कश्मीर, दादरा एवं नगर हवेली, दमन-दीव और अंडमान-निकोबार भी आने वाले कुछ ही दिनों में हजारों युवाओं को ऐसे ही कार्यक्रम करके नियुक्ति पत्र देने वाले हैं।
उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार के विभागों में इतनी तत्परता आई है इसके पीछे 7-8 साल की कड़ी मेहनत है, कर्मयोगियों का विराट संकल्प है। वरना आपको याद होगा, पहले सरकारी नौकरी के लिए अगर किसी को अप्लाई करना होता था, तो वहीं से अनेक परेशानियां शुरु हो जाती थीं। भांति-भांति के प्रमाण पत्र मांगे जाते, जो प्रमाणपत्र होते भी थे उनको प्रमाणित करने के लिए आपको नेताओं के घर के बाहर कतार लगाकर खड़ा रहना पड़ता था। अफसरों की सिफारिश लेकर के जाना पड़ता था। हमने सरकार के शुरुआती वर्षों में ही इन सब मुश्किलों से युवाओं को मुक्ति दे दी। सेल्फ अटेस्टेशन, युवा अपने सर्टिफिकेट खुद प्रमाणित करे, ये व्यवस्था की। दूसरा बड़ा कदम हमने केंद्र सरकार की ग्रुप सी और ग्रुप डी इन भर्तियों में इंटरव्यू को खत्म करके उन सारे परंपराओं को उठा लिया। इंटरव्यू की प्रक्रिया को समाप्त करने से भी लाखों नौजवानों को बहुत फायदा हुआ है।