नई दिल्ली। कांग्रेस (Congress) ने झारखंड में सम्मेद शिखरजी को पर्यटन स्थल (tourist areas) में बदलने के विरोध कर रहे जैन समाज के आंदोलन को सही बताते हुए कहा है कि पार्टी इस समुदाय की भावना के साथ है और सरकार को जैन समुदाय (Jain community) की भावना के अनुकूल कदम उठाने चाहिए।
कांग्रेस प्रवक्ता पवन खेड़ा (Pawan Khera) ने यहां पार्टी मुख्यालय में संवाददाता सम्मेलन में कहा कि भारतीय जनता पार्टी (Bharatiya Janata Party) की सरकार जैन तीर्थ स्थल (Jain pilgrimage) को तिजोरी भरने के लिए इस्तेमाल करना चाहती है। उन्होंने कहा कि 2015 में झारखंड सरकार (Jharkhand government) ने शिखरजी पर्वतीय क्षेत्र में पारसनाथ पहाड़ी विकास योजना (Parasnath hill development scheme) बनाई जिसमें हेलीपैड, थीम पार्क, पर्यटक स्वागत केंद्र, कार पार्किंग आदि का निर्माण होना था। इसको लेकर आंदोलन हुआ तो 2018 में शिखरजी पहाड़ियों पर वाहनों और दुपहिया वाहनों की आवाजाही पर प्रतिबंध लगाया गया और 2019 में सरकार ने इसे संवेदनशील क्षेत्र घोषित कर दिया लेकिन इसका मतलब यह नहीं कि वहां पर्यटन क्षेत्र विकसित नहीं किया जा सकता है। उन्होंने कहा कि गुजरात में जैन धार्मिक स्थलों के प्रबंधन में बदलाव कर 900 साल पुरानी व्यवस्था को बदलने का प्रयास हो रहा है। हाल ही में कुछ अराजक तत्वों ने पवित्र स्थल पर तोड़फोड़ भी की थी जैन समुदाय के लोगों ने इसका विरोध किया तो सरकार ने आंदोलन के स्वर को दबाने के लिए विशेष कार्यबल गठित किया।
प्रवक्ता ने कहा कि सरकार को बताना चाहिए कि जैन समुदाय की भावनाओं को दबाने के लिए लगातार कदम क्यों उठाए जा रहे हैं। भाजपा को यह भी बताना चाहिए कि क्या वह जैन समुदाय को अपमानित नहीं कर रही है। उन्होंने कहा कि सरकार को पवित्र पारसनाथ पहाड़ी और शिखरजी पहाड़ी को पर्यटन स्थल में बदलने की अधिसूचना वापस लेनी चाहिए। (भाषा)