वैज्ञानिकों का यह कथन भरोसा बंधाने वाला है कि अब चिकित्सा व्यवस्था कोरोना संक्रमण के आगे लाचार नहीं है। वैक्सीन कोविड-19 का मुकाबला करने के लिए लिहाज से काफी प्रभावी हैं। लेकिन कोरोना को लेकर लापरवाह हो जाना ठीक नहीं होगा। अभी इसके बारे में कोई ठोस अनुमान संभव नहीं है। corona crisis in world
अमेरिकी विशेषज्ञों ने सही वक्त पर आगाह किया है। उन्होंने लोगों में फैल रही इस धारणा को गलत बताया है कि कोविड-19 संक्रमण मौसमी फ्लू की तरह ही है। विशेषज्ञों ने कहा है कि कोविड-19 संक्रमण एक हद तक मौसमी है। लेकिन यह साधारण फ्लू जैसा नहीं है। फिलहाल अमेरिका में भी कोरोना संक्रमण के मामले बढ़ रहे हैँ। इसे देखते हुए वहां कई राज्यों में मास्क पहनने की अनिवार्यता फिर लागू की गई है। बहरहाल, वैज्ञानिकों का यह कथन भरोसा बंधाने वाला है कि अब चिकित्सा व्यवस्था कोरोना संक्रमण के आगे लाचार नहीं है। वैक्सीन कोविड-19 का मुकाबला करने के लिए लिहाज से काफी प्रभावी हैं। अमेरिका के सेंटर फॉर डिजीज कंट्रोल एंड प्रिवेंशन (सीडीसी) के मुताबिक टीका लगवा चुके लोगों के कोविड-19 से संक्रमित होने पर अस्पताल में भर्ती होने की नौबत आने की आशंका दस गुना कम रहती है। जिन लोगों ने वैक्सीन के बूस्टर डोज लगवा लिए हैं, उनके लिए ये बचाव और भी ज्यादा मजबूत है। लेकिन इससे आगे कोरोना को लेकर लापरवाह हो जाना ठीक नहीं होगा। इसलिए कि अभी इस संक्रमण के कई तरह के असर के बारे में ठोस अनुमान लगाना संभव नहीं हुआ है।
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एक विशेषज्ञ की ये राय ध्यान देने योग्य है कि ‘अभी हम ऐसी जगह पर हैं, जिसके आगे का रास्ता पता नहीं है। फ्लू के बारे में हम बहुत कुछ जानते हैं। लेकिन कोविड-19 के बारे में अभी रोज नई जानकारी सामने आ रही है।’ जहां तक कोरोना के मौसमी पैटर्न की बात है, तो इस बारे में अनुसंधान से कुछ संकेत मिले हैँ। यानी हर वर्ष एक खास मौसम में इसके कुछ लक्षण ज्यादा देखने को मिल सकते हैँ। मगर ऐसे अनुसंधान से जुड़े रहे वैज्ञानिकों ने साथ ही यह भी कहा है कि अगर ओमीक्रोन जैसे कोविड-19 के अधिक तेजी से संक्रमित होने वाला स्ट्रेन सामने आते रहे, तो मौसमी पैटर्न बदल सकता है। यानी अभी वह समय दूर है, जब ये महामारी एक आम बीमारी बन जाएगी। डॉक्टर यह तो मानते हैं कि लंबी अवधि में ऐसा जरूर होगा। लेकिन असल सवाल है कि ये अवधि आखिर कितनी लंबी होगी? विशेषज्ञों के मुताबिक यह इस पर ही निर्भर करेगा कि किस तेजी से कोविड-19 के वैरिएंट सामने आते रहते हैं। फिलहाल इस बारे में कोई ठोस भविष्यवाणी संभव नहीं है। corona crisis in world