श्रीनगर। जम्मू कश्मीर के किश्तवाड़ के बाद अब कठुआ में एक के बाद एक तीन जगह बादल फटने की घटना हुई, जिसमें सात लोगों की मौत हो गई है। किश्तवाड़ में बादल फटने से पिछले दिनों बड़ा हादसा हुआ था, जिसमें अब तक 65 लोगों के शव निकाले जा चुके हैं और दो सौ के करीब लापता लोगों की तलाश हो रही है। जम्मू कश्मीर के साथ साथ रविवार को हिमाचल प्रदेश में भी बादल फटा है। जम्मू कश्मीर में पिछले तीन दिन में बादल फटने की यह दूसरी बड़ी घटना है।
रविवार की सुबह कठुआ जिले में सीमा से सटे इलाके में तीन जगह बादल फटा। जोद घाटी इलाके में सात लोगों की मौत हो गई और कई घायल हुए। जोद के अलावा मथरे चक, बगार्ड चंगड़ा और दिलवान-हुटली में भूस्खलन की घटना हुई। इससे पहले 14 अगस्त को जम्मू कश्मीर के किश्तवाड़ के चिशोटी में भी ऐसी ही घटना हुई थी। भूस्खलन के बाद जोद गांव का शहर से संपर्क टूट गया था, बड़ी मुश्किल से राहत की टीम गांव पहुंची। घरों में कई फीट तक पानी और मलबा भरा है।
कठुआ के अधिकारियों ने बताया कि भूस्खलन में तीन मकान टूटे हैं, जिनमें छह लोगों के फंसे होने की सूचना है। जांगलोट सहित नेशनल हाईवे पर कई जगह पर सड़क को नुकसान पहुंचा है। रेलवे ट्रैक भी बाधित है। उधर हिमाचल प्रदेश में मानसून की बारिश में तबाही नहीं थम रही। रविवार की सुबह चार बजे के करीब कुल्लू के टकोली में बादल फटा। कुल्लू के पनारसा, नगवाई में भी फ्लैश फ्लड के बाद चारों तरफ मलबा बिखरा है। इस बीच मौसम विभाग ने जम्मू कश्मीर में 17 से 19 अगस्त तक तेज बारिश की संभावना जताई है। इस से भूस्खलन की घटनाएं हो सकती हैं।