नई दिल्ली। खालिस्तानी अलगाववादी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या को लेकर भारत और कनाडा में चल रहे विवाद के बीच भारत ने बड़ा आरोप लगाया है। भारत ने कहा है कि कनाडा सिर्फ आरोप लगा रहा है वह सबूत नहीं दे रहा है और न लॉरेंस बिश्नोई गैंग के गुर्गों का प्रत्यर्पण कर रहा है। भारत ने कहा है कि सरकार की ओर से लॉरेंस गैंग के सदस्यों को भारत को सौंपने के लिए कई बार अनुरोध किया गया है। भारत के मुताबिक 26 अनुरोध कनाडा के पास पेंडिंग हैं, जिन पर उसने फैसला नहीं किया है।
इससे पहले कनाडा सरकार ने 15 अक्टूबर को भारत पर आरोप लगाया था कि भारत ने लॉरेंस गैंग का इस्तेमाल कर कई लोगों की हत्या कराने की कोशिश की। इसका जवाब देते हुए गुरुवार, 17 अक्टूबर को भारत के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने कहा- हमने कई बार लॉरेंस गैंग से जुड़े लोगों के प्रत्यर्पण की मांग की, पर कनाडा की तरफ से कोई जवाब नहीं मिला। असल में भारत ने कनाडा को ल़ॉरेंस बिश्नोई गैंग से जुड़े पांच लोगों के नामों की जानकारी दी।
विदेश मंत्रालय ने कहा- हमने गुरजीत सिंह, गुरजिंदर सिंह, अर्शदीप सिंह गिल, लखबीर सिंह लांडा और गुरप्रीत सिंह को भारत भेजने की मांग को लेकर कई बार कनाडा से अनुरोध किया, पर उनकी तरफ से एक बार भी जवाब नहीं आया। विदेश मंत्रालय ने कहा- कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने भारत पर निज्जर की हत्या के आरोप लगाए, पर एक साल में कोई सबूत नहीं दिया। विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने कहा- ट्रूडो खुद अपने बयानों से भारत पर लगाए आरोप को झूठा साबित कर रहे हैं। उन्होंने कहा- हमारे डिप्लोमेट्स पर लगाए गए झूठे आरोपों को हम पूरी तरह से खारिज करते हैं।
गौरतलब है कि कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो एक दिन पहले बुधवार, 16 अक्टूबर को कनाडा सरकार के एक आयोग के सामने पेश हुए थे। इस दौरान उन्होंने ये माना कि पिछले साल सितंबर 2023 में जब उन्होंने हरदीप सिंह निज्जर की हत्या में भारतीय एजेंट्स के शामिल होने का आरोप लगाया था, तब उनके पास केवल खुफिया जानकारी थी। कोई ठोस सबूत नहीं था। हालांकि ट्रूडो के आरोप के बाद साल भर में कई ऐसे मौके आए हैं जब उनकी सरकार ने ये दावा किया कि उसने निज्जर हत्याकांड से जुड़े सबूत भारत को दिए हैं। जबकि भारत इन दावों को खारिज करता रहा है।