Naya India-Hindi News, Latest Hindi News, Breaking News, Hindi Samachar

दिल्ली में एक सीट की नीतीश पार्टी?

Bihar politics

बिहार में नीतीश कुमार मुख्यमंत्री हैं और उनके साथ आने की वजह से लोकसभा चुनाव में भाजपा और पूरे एनडीए ने अच्छा प्रदर्शन किया। लेकिन उसके बाद हुए विधानसभा चुनावों में भाजपा ने झारखंड में जनता दल यू को सिर्फ दो सीटें दीं और दिल्ली में भी सिर्फ एक सीट दी। सोचें, झारखंड में चिराग पासवान की पार्टी भी एक सीट लेने में कामयाब हो गई और दिल्ली में भी चिराग की पार्टी को एक सीट मिल गई। भाजपा ने एक तरह से जदयू और चिराग की पार्टी को बराबर कर दिया है। कहा जा रहा है कि जदयू की ओर से भाजपा से बात कर रहे लोगों ने ऐसा सरेंडर किया है कि भाजपा का अपर हैंड हो गया है। पिछली बार दिल्ली में भाजपा ने जदयू को दो सीटें दी थीं। लेकिन इस बार सिर्फ एक सीट मिली है क्योंकि जदयू के लोगों ने ही दिल्ली में भाजपा के शीर्ष नेताओं को नीतीश कुमार की कमजोरी बता दी, जिसका इस्तेमाल करके भाजपा ने सिर्फ एक सीट दी।

असल में नीतीश कुमार बुराड़ी सीट के लिए अड़े थे क्योंकि वह सीट उनको अपने चहेते आईएएस अधिकारी कुमार रवि के ससुर शैलेंद्र कुमार के लिए चाहिए थी। पिछली बार भी वे जदयू की टिकट पर बुराड़ी से लड़े थे और हार गए थे। इस बार वे मजबूत उम्मीदवार नहीं हैं। लेकिन चूंकि आईएएस अधिकारी रवि चाहते थे कि उनके ससुर को टिकट मिले तो नीतीश ने वीटो किया। इसका नतीजा यह हुआ कि भाजपा ने कह दिया कि अगर बुराड़ी सीट चाहिए जदयू को तो वह इसके अलावा कोई और सीट नहीं देगी। बस पार्टी एक सीट पर सिमट गई। पहले कहा जा रहा था कि केंद्रीय मंत्री और पार्टी के पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष राजीव रंजन सिंह उर्फ ललन सिंह ने तीन सीटों की बात की थी। तय हुआ था कि बुराड़ी सीट जदयू को मिलेगी लेकिन उम्मीदवार भाजपा का होगा। भाजपा किसी त्यागी को वहां से लड़ाना चाहती थी। इसके अलावा जदयू को संगम विहार और द्वारका की सीट देने की बात हुई थी। ऐसा लग रहा है कि भाजपा ने जान बूझकर बुराड़ी सीट में पंगा डाला क्योंकि उसको पता था कि नीतीश इस सीट पर शैलेंद्र कुमार के अड़ेंगे। वही हुआ और भाजपा ने इसका फायदा उठा कर एक ही सीट दी।

Exit mobile version