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राहुल ने राजस्थान पर गलती स्वीकारी!

क्या राहुल गांधी ने राजस्थान के मामले में अपनी गलती मान ली है? जानकार सूत्रों का कहना है कि पिछले हफ्ते जब राजस्थान में चुनावी हार की समीक्षा की बैठक हुई तो उसमें पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि भाजपा ने सांप्रदायिक आधार पर ध्रुवीकरण करा दिया और हिंदू-मुस्लिम के मामले को हाईलाइट किया, जिसकी वजह से कांग्रेस हार गई। इस पर राहुल गांधी ने कहा कि ऐसा नहीं है। उन्होंने कहा कि अगर यह अंदाजा होता कि कांग्रेस इतनी मजबूत है तो थोड़ी और मेहनत की जाती। यह एक तरह से राहुल गांधी का भूल स्वीकारना है। गौरतलब है कि राहुल गांधी ने चुनाव से पहले एक प्रेस कांफ्रेंस में कह दिया कि मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़ और तेलंगाना में जीतेंगे, जबकि राजस्थान में कड़ी टक्कर देंगे।

असल में राहुल गांधी राजस्थान को लेकर कभी भरोसे में नहीं थे। ऊपर से गहलोत और सचिन पायलट के विवाद से भी वे नाराज थे तो राष्ट्रीय अध्यक्ष के चुनाव के समय जो ड्रामा हुआ था उसे लेकर भी राहुल नाराज थे। इसी वजह से वे बहुत देर से राजस्थान के प्रचार में उतरे। मध्य प्रदेश और तेलंगाना में प्रचार बंद होने के बाद उनका राजस्थान का दौरा शुरू हुआ। इसके अलावा यह भी हकीकत है कि अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी ने राजस्थान पर ध्यान नहीं दिया। सब कुछ गहलोत के ऊपर छोड़ दिया गया। अब राहुल गांधी को इसका अफसोस लग रहा है। अगर कांग्रेस ने वहां थोड़ी मेहनत और की होती तो जीत सकती थी। कांग्रेस और भाजपा के बीच वहां सिर्फ दो फीसदी वोट का अंतर है। अगर कांग्रेस एक फीसदी वोट भी और लेती तो पिछली बार की तरह उसकी सीटें ज्यादा हो सकती थीं। राज्य की 20 सीटों का फैसला तो दो हजार से कम वोट के अंतर से हुआ है।

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