bihar politics jdu bjp : बिहार में जनता दल यू और भारतीय जनता पार्टी की साझा सरकार की मुश्किलें बढ़ सकती हैं। राजद प्रमुख लालू प्रसाद की सक्रियता गठबंधन सरकार को मुश्किल में डाल सकती है। अभी लालू प्रसाद पूरी तरह से ठीक नहीं हुए हैं और पटना भी नहीं पहुंचे हैं, लेकिन उससे पहले ही सरकार के अंदर कलह शुरू हो गई है। सत्ता पक्ष के विधायकों और सरकार के मंत्रियों ने अनाप-शनाप बयान दिए हैं तो कई पूर्व विधायकों और मजबूत नेताओं ने पाला बदल लिया है। जदयू के दो बार के विधायक महेश्वर सिंह ने पिछले दिनों राजद का दामन थाम लिया। वे राजद के स्थापना दिवस के कार्यक्रम में भी शामिल हुए।
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भाजपा के पुराने नेता और विधायक ज्ञानेंद्र सिंह ने अपनी ही पार्टी पर तीखा हमला किया। उन्होंने कहा कि भाजपा के 80 फीसदी मंत्री भ्रष्ट हैं, घूसखोर हैं और ट्रांसफर-पोस्टिंग में पैसा कमाया है। उन्होंने नीतीश कुमार की हालांकि तारीफ की और कहा कि उन्होंने अपने मंत्रियों को काबू में रखा है। हालांकि सरकार में शामिल मंत्री मदन साहनी ने नीतीश कुमार को भी नहीं छोड़ा। मदन साहनी ने कहा कि विधायकों और मंत्रियों की कोई सुनवाई नहीं है। अधिकारी सारे फैसले कर रहे हैं। उन्होंने नीतीश कुमार के प्रधान सचिव रहे चंचल कुमार का नाम लेकर उन पर भ्रष्टाचार के आरोप लगाए। भाजपा के एक और विधायक रामप्रीत पासवान ने भी सरकार को कठघरे में खड़ा करने वाला बयान दिया है। वे पहले भी कई कारणों से विवादों में रहे हैं।
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bihar politics jdu bjp : तभी कहा जा रहा है कि बिहार में दो स्तर पर संकट है। एक तो जदयू और भाजपा के बीच तालमेल नहीं बन पा रहा है और दूसरे सत्तारूढ़ गठबंधन की चारों पार्टियों में से कई विधायक मुख्य विपक्षी राजद के संपर्क में बताए जा रहे हैं। इस बीच केंद्र में कैबिनेट विस्तार की चर्चा है। अगर जदयू सरकार में शामिल होती है और दोनों बड़े नेताओं को उसमें जगह नहीं मिलती है तो बिहार में सत्तारूढ़ गठबंधन के अंदर कलह और तेज होगी।