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दूसरे राज्य भी कराएंगे जाति की गिनती!

ByNI Political,
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दूसरे राज्य भी कराएंगे जाति की गिनती!
Chhattisgarh caste based census छत्तीसगढ़ सरकार ने जातियों की गिनती शुरू करा दी है। हालांकि उसने ऐसा हाई कोर्ट के निर्देश पर किया है लेकिन यह दूसरे राज्यों के लिए मिसाल बन सकती है। छत्तीसगढ़ सरकार ने अदालत के निर्देश पर अन्य पिछड़ी जातियों यानी ओबीसी और आर्थिक रूप से पिछड़े सवर्णों यानी ईडब्लुएस की गिनती करा रही है। हाई कोर्ट ने इसका डाटा राज्य सरकार से मांगा है। ध्यान रहे एससी और एसटी का डाटा सरकार के पास होता है लेकिन ओबीसी और ईडब्लुएस के लिए आरक्षण का प्रावधान किए जाने के बावजूद उनका डाटा किसी सरकार के पास उपलब्ध नहीं है। ओबीसी की संख्या का अंदाजा तो 1931 की जनगणना के आधार पर लगाया जाता है। तभी देश की कई पार्टियां और बिहार सरकार ने आधिकारिक रूप से जाति आधारित जनगणना की मांग की है। Read also नौकरशाही, नेताशाही और लोकतंत्र अब उनके लिए छत्तीसगढ़ की मिसाल है। वे छत्तीसगढ़ की तर्ज पर ओबीसी और ईडब्लुएस की गिनती करा सकते हैं। सरकार के पास एससी और एसटी का डाटा पहले से है और अगर ओबीसी और इडब्लुएस का डाटा आ गया तो अपने आप अदर कास्ट यानी अन्य जातियों की संख्या का भी पता चल जाएगा। छत्तीसगढ़ सरकार ने इसके लिए एक ऐप बनाया है और एक कमेटी भी बनाई है। इस ऐप के जरिए लोग अपने को जाति के नाम के साथ रजिस्टर कर सकते हैं। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने इसे लांच करते हुए सबसे पहले अपने को ओबीसी श्रेणी में रजिस्टर किया। यह राजनीतिक रूप से भी उनके लिए फायदेमंद हो सकता है।
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