कर्नाटक के प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष डीके शिवकुमार के खिलाफ चल रही जांच पूरी ही नहीं हो रही है। वे सितंबर 2019 में गिरफ्तार हुए थे। ईडी ने धनशोधन के आरोप में गिरफ्तार किया था। उसके एक महीने बाद अक्टूबर में उनको जमानत मिल गई थी। जाहिर है सितंबर 2019 में गिरफ्तारी से पहले से सीबीआई और ईडी उनकी जांच कर रहे हैं और तभी उनको गिरफ्तार किया था। अब स्थिति यह है कि गिरफ्तारी करने के साढ़े तीन साल बाद तक जांच चल रही रही है और आए दिन उनको, उनके भाई को या परिवार के अन्य सदस्यों के बुला कर कोई न कोई एजेंसी पूछताछ करती रहती है। उनके कारोबारी समूह से जुड़े अधिकारियों और कर्मचारियों को भी गाहेबगाहे बुलाया जाता है।
राज्य में जब भी कोई राजनीतिक घटनाक्रम चल रहा होता है तब तो जरूर ही समन भेजा जाता है। राहुल गांधी जब भारत जोड़ो यात्रा लेकर कर्नाटक पहुंचे थे तब डीके शिवकुमार को ईडी ने पूछताछ के लिए बुलाया। वे यात्रा बीच में छोड़ कर दिल्ली में ईडी के सामने हाजिर हुए थे। अब वे खुद प्रजा ध्वनि यात्रा कर रहे हैं और मई में विधानसभा चुनाव होने हैं तो फिर उनको ईडी ने बुलाया है। उनको 22 फरवरी को ईडी के सामने हाजिर होने के लिए कहा गया है। इतना ही नहीं उनकी बेटी डीकेएस ऐश्वर्या को सीबीआई का नोटिस मिला है। अब एजेंसियां उनके शिक्षण संस्थानों की कथित गड़बड़ियों की जांच कर रही है। डीकेएस ने कहा है कि एजेंसियां उनसे पढ़ कर पास हो चुके छात्रों की फीस के बारे में पूछ रही है।