अगर देश के आम लोगों किसी बात से त्रस्त होकर आंदोलन करते हैं तो उसका फायदा आम आदमी पार्टी को मिलेगा। यह सुनने में अजीब सा लगेगा लेकिन यह दिल्ली और पंजाब के नतीजों से यह जाहिर हुआ है और अब पार्टी के नेता भी इसे मानने लगे हैं। ध्यान रहे दिल्ली में 2011 में भ्रष्टाचार के खिलाफ अन्ना हजारे का आंदोलन हुआ, जिसके बाद आम आदमी पार्टी बनी और पहले ही चुनाव में दिल्ली की नंबर दो पार्टी बन गई। उसके बाद तो दो चुनाव में उसने कमाल किया। कांग्रेस लगातार दो चुनाव में शून्य पर रही और आम को क्रमशः 67 और 62 सीटें मिलीं। इसी तरह का कमाल उसने पंजाब में किया है। movement aap party benefit
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पिछले साल किसानों का आंदोलन हुआ। वैसे तो आंदोलन में देश भर के किसान शामिल थे लेकिन मुख्य रूप से पंजाब और हरियाणा के किसान आंदोलन कर रहे थे। केंद्र सरकार और भाजपा के आईटी सेल ने भी पंजाब के किसानों को ही निशाना बनाया था। उनको खालिस्तानी, आतंकवादी, मवाली आदि कहा गया था। उस आंदोलन के ठीक बाद पंजाब में चुनाव हुए तो फायदा आम आदमी पार्टी को हुआ। उसने 117 विधानसभा सीटों में से 93 सीटें जीत लीं। अभी हरियाणा चुनाव में देरी है अन्यथा वहां भी आप को फायदा हुआ होता। सो, माना जा रहा है कि अगर महंगाई, बेरोजगारी आदि को लेकर भी देश भर में कोई आंदोलन होता है तो उसका फायदा भी कांग्रेस की बजाय आप को ही मिलेगा।