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मोराटोरियम बढ़ाने का लाभ किसको होगा?

ByNI Desk,
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मोराटोरियम बढ़ाने का लाभ किसको होगा?
सुप्रीम कोर्ट ने कर्ज की किस्तें चुकाने से लोगों को दी गई छूट को बढ़ाने के लिए दायर की गई याचिकाओं की सुनवाई करते हुए कहा है कि जिन लोगों के खाते 31 अगस्त तक एनपीए नहीं घोषित किए गए हैं उनके खिलाफ अगले आदेश तक कोई कार्रवाई न किया जाए। इसका मतलब है कि अदालत का अंतिम फैसला आने तक उनके खातों को एनपीए नहीं घोषित की जाए और कर्ज वसूली की प्रक्रिया न शुरू की जाए। इस मामले की सुनवाई 10 सितंबर को फिर से होगी। अदालत के इस आदेश का फायदा आवास, वाहन आदि के लिए कर्ज लेने वालों को तो होगा पर साथ ही कारोबारी कर्जदारों को भी इसका फायदा होगा। बताया जा रहा है कि आवास व वाहन के लिए कर्ज लेने वालों में से ज्यादातर लोगों ने किस्तें भरी हैं। वे जानते थे कि किस्तें नहीं भरीं तो ब्याज के ऊपर ब्याज देना होगा। पर कॉमर्शियल कर्ज की किस्तें ज्यादा अटकी हैं। सो, अगर मोराटोरियम की अवधि बढ़ाई जाती है और साथ ही ब्याज माफी का फैसला होता है तो सबसे ज्यादा फायदा कॉमर्शियल गतिविधियों के लिए कर्ज लेने वालों को होगा। खातों को दो महीने तक एनपीए नहीं घोषित करने के आदेश के भी सबसे बड़े लाभार्थी वे ही हैं। सो, ऐसा लग रहा है कि आम लोगों को राहत देने के लिए शुरू की गई मुहिम अंततः कारोबारी और उद्यमियों को फायदा पहुंचाने वाली है।
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