महाराष्ट्र में कांग्रेस पार्टी और उसकी सहयोगी एनसीपी इस समय शिव सेना के साथ सरकार में शामिल हैं। सरकार में शामिल होने से ऐसा लग रहा है कि कांग्रेस पर शिव सेना का असर होने लगा है। उसके नेता शिव सेना जैसी राजनीति करने लगे हैं। कांग्रेस के नए प्रदेश अध्यक्ष नाना पटोले ने जिस तरह से अमिताभ बच्चन और अक्षय कुमार को नाम लेकर निशाना बनाया वह शिव सेना की ट्रेड मार्क राजनीति की तरह है। कांग्रेस कभी इस तरह की राजनीति नहीं करती और तभी कांग्रेस के केंद्रीय नेतृत्व ने नाना पटोले के बयान से खुद को अलग किया। कांग्रेस ने उनके बयान से दूरी बनाई और साथ ही सफाई देते हुए कहा कि वे हिंसा को उकसाने की बात नहीं कर रहे थे।
असल में नाना पटोले ने बयान दिया था कि अगर अमिताभ बच्चन और अक्षय कुमार किसानों के मुद्दे पर नहीं बोलते हैं या पेट्रोल-डीजल की कीमतों में बढ़ोतरी पर बयान नहीं देते हैं तो कांग्रेस पार्टी उनको महाराष्ट्र में फिल्मों की शूटिंग नहीं होने देगी और उनकी फिल्मों का बहिष्कार भी करेगी। ध्यान रहे अमिताभ बच्चन, अक्षय कुमार, अनुपम खेर जैसे अनेक फिल्मी हस्तियों ने मनमोहन सिंह के राज में पेट्रोल और डीजल की बढ़ती कीमतों के विरोध में ट्विट किए थे और बयान दिए थे और मजाक भी खूब बनाया था। पर पिछले करीब सात साल से इस मसले पर सब चुप हैं। पेट्रोल की कीमत एक सौ रुपए लीटर से ज्यादा हो गई तब भी किसी का बयान नहीं आया।
इस बात को लेकर सोशल मीडिया में अपने आप चर्चा हो रही है। लोग इन सब फिल्मी हस्तियों और न्यूज एंकर्स के पुराने ट्विट निकाल कर शेयर कर रहे हैं और इनकी हिप्पोक्रेसी उजागर कर रहे हैं। पर कोई पार्टी इस बात के लिए किसी पर हमला नहीं कर सकती है कि वह पहले क्यों बोलता था और अब क्यों नहीं बोल रहा है। नाना पटोले के बयान का नुकसान यह हुआ है कि सोशल मीडिया में, जहां पहले से पहले से फिल्मी हस्तियों के खिलाफ माहौल बन रहा था और उनको दोमुंहा कहा जा रहा था वहीं अब उनको सहानुभूति मिलने लगी है।
भाजपा का आईटी सेल पहले इस मामले में चुपचाप था और फिल्मी हस्तियों पर हो रहे हमलों को दूर से देख रहा था। पर कांग्रेस के आधिकारिक रूप से उन पर हमला करने के बाद भाजपा का आईटी सेल उनके समर्थन में सक्रिय हो गया है। उनको राष्ट्रभक्त ठहराया जाने लगा है। सोशल मीडिया का पूरा नैरेटिव बदल गया है। तभी कांग्रेस को सफाई देनी पड़ी और नाना पटोले के बयान से दूरी बनानी पड़ी। हालांकि कांग्रेस के जानकार सूत्रों का कहना है कि महाराष्ट्र में उसने जिन दो नेताओं- नाना पटोले और बाला साहेब थोराट को अपना चेहरा बनाया है वे दोनों क्षेत्रीय पार्टियों के हिसाब से ही राजनीति करेंगे। उनका राष्ट्रीय राजनीति में एक्सपोजर कम है और इसलिए उनका फोकस क्षेत्रीय मुद्दों पर ज्यादा होगा।
शिव सेना जैसी कांग्रेस की राजनीति!
और पढ़ें
-
बाबा तरसेम सिंह की गोली मारकर हत्या
रुद्रपुर। उत्तराखंड में नानकमत्ता साहिब में कार सेवा डेरा का संचालन करने वाले बाबा तरसेम सिंह (Baba Tarsem Singh) की...
-
1000 अंकों की तेजी से सेंसेक्स 74 हजार के पार
नई दिल्ली। गुरुवार को सेंसेक्स (Sensex) 1000 अंक से अधिक उछल कर 74 हजार अंक को पार कर गया। सेंसेक्स...
-
मोहन यादव ने छिंदवाड़ा के लोगों का किया अपमान: कमलनाथ
भोपाल। मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ (Kamal Nath) ने मुख्यमंत्री डाॅ. मोहन यादव (Mohan Yadav) पर छिंदवाड़ा के लोगों...
-
आर्थिक विकास के पथ के अनुरूप है भारत की व्यापार नीति: पीयूष गोयल
नई दिल्ली। वाणिज्य और उद्योग मंत्री पीयूष गोयल (Piyush Goyal) ने गुरुवार को कहा कि भारत की व्यापार नीति उसके...