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हिमंता के बाद सिंधिया की ताजपोशी

ByNI Political,
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हिमंता के बाद सिंधिया की ताजपोशी
Himanta Biswa Sarma jyotiraditya scindia : यह सवाल भारतीय जनता पार्टी के नेता उठा रहे हैं कि आखिर पार्टी क्यों अपने लोगों को छोड़ कर दूसरी पार्टी से आए नेताओं को इतनी तरजीह दे रही है। असल में भाजपा एक रणनीति के तहत यह काम कर रही है। वह कांग्रेस मुक्त भारत के अपने नारे को पूरा करने के लिए कांग्रेस के ऐसे चेहरों को ऊंचे पदों पर बैठा रही है, जो पार्टी नेतृत्व से नाराज होकर या उसकी आलोचना करके पार्टी से बाहर हुए हैं। modi cabinet इसी योजना के तहत भाजपा ने छह साल पहले कांग्रेस छोड़ने वाले हिमंता बिस्वा सरमा को असम का मुख्यमंत्री बनाया है। राहुल गांधी के साथ उनके विवाद को बहुत हाईलाइट किया गया था। हिमंता सरमा को मुख्यमंत्री बनाने का तात्कालिक फायदा जितिन प्रसाद के रूप में हुआ। हिमंता की ताजपोशी ने जितिन को प्रेरित किया कि वे पाला बदलें और भाजपा के साथ जाएं।

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इसी तरह पिछला साल कांग्रेस की मध्य प्रदेश सरकार गिरवा कर भाजपा में शामिल हुए ज्योतिरादित्य सिंधिया को राज्यसभा सदस्य बनाने के बाद कैबिनेट मंत्री बनाना भी बहुत से कांग्रेस नेताओं को प्रेरित करेगा कि भाजपा की ओर प्रस्थान करें। ध्यान रहे नरेंद्र मोदी के मंत्रिमंडल में फेरबदल की अटकलों में पिछले एक साल से ज्यादा चर्चा सिंधिया की हुई है। इस बार भी जब सब तय हो गया तब भी मीडिया सिर्फ सिंधिया को दिखाता रहा कि वे कैसे महाकाल के दर्शन के लिए पहुंचे और दिल्ली से फोन आ गया। कैसे वे दौरा बीच में छोड़ कर दिल्ली आए और शपथ ली। सो, इसमें एक खास पैटर्न दिखता है, जिसका मकसद कांग्रेस के नाराज नेताओं को लुभाना है। अब देखना दिलचस्प होगा कि भाजपा की ओर से डाला गया दाना कांग्रेस के कितने नेता चुगते हैं। Himanta Biswa Sarma jyotiraditya

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