Corona Epidemic
रीबी रेखा के नीचे जीवन यापन करने खुछ युवाओं ने खुद अपना जीवन बदल दिया है. अनुसूचित जाति वित्त एवं विकास निगम की 9 से अधिक योजनाओं…
चीन में कोरोना के मामले सामने आने के बाद से वहां महीनों पहले इस महामारी की जांच के लिए इस्तेमाल में लाया जाने वाला पीसीआर किट की खरीदारी शुरू हो गई थी….
देशभर में वैक्सीनेशन के लिए देशभऱ में खास अभियान भी चलाया गया. इस विशेष टीकाकरण अभियान के दौरान कोविड-19 टीके की 2.50 करोड़ से अधिक खुराक…
विधानसभा चुनाव को ध्यान से देखें तो आपके ये साफ दिखाई देगा. BJP ने महाराष्ट्र हरियाणा और झारखंड में जीत दर्ज करने के बाद ऐसे चेहरों को मुख्यमंत्री पद के लिए चुना जिन्हें ज्यादा लोग नहीं जानते थे…
महेंद्र सिंह धोनी के कप्तानी छोड़ने के बाद इस टीम का नेतृत्व रविंद्र जडेजा करना चाहते हैं. भारतीय टीम में ऑलराउंडर के तौर पर प्रसिद्ध हुए रविंद्र जडेजा ने खुद यह बात कही है. उन्होंने यह इच्छा जाहिर क
गोवा के स्वास्थ्य मंत्री विश्वजीत राणे ने विधानसभा में कहा कि महामारी के दौरान अस्पताल ने ऑक्सीजन की कमी का सामना नहीं किया और इसलिए इसके कारण अस्पताल में किसी की मौत होने का सवाल ही नहीं है.
नई दिल्ली | Highcourt On examination fee : कोरोना महामारी के कारण CBSE की 10वीं और 12वीं की परीक्षा स्थगित कर दी गई थी. परीक्षा के स्थगित होने के बाद दिल्ली हाईकोर्ट में एक अधिवक्ता ने अर्जी दी थी कि जब परीक्षाएं नहीं ली जा रही है तो परीक्षा फीस वापस कर दिया जाना चाहिए. इस मामले में सुनवाई करते हुए दिल्ली हाईकोर्ट ने CBSE से Exam fees वापस करने को लेकर जवाब मांगा है. दिल्ली हाईकोर्ट ने इसके लिए CBSE को 8 सप्ताह का समय भी दिया इसके साथ ही कोर्ट ने CBSE से पूछा है कि वह स्पष्ट तौर पर बताए कि परीक्षा फीस वापस की जा सकती है या नहीं. मध्यम वर्गीय परिवार आर्थिक संकट से जूझ रहे हैं Highcourt On examination fee : कोरोना काल में परीक्षा नहीं लिए जाने की स्थिति में दिल्ली के एक सामाजिक कार्यकर्ता और वकील दीपा जोसेफ ने यह जनहित याचिका दायर की है. जोसेफ का कहना है कि परीक्षा नहीं हुई तो बच्चों और अभिभावकों को उनके पैसे वापस किए जाने चाहिए. जोसेफ की दलील है कि कोरोना और लॉकडाउन के कारण ऐसे ही मध्यम वर्गीय परिवार आर्थिक संकट से जूझ रहे हैं. ऐसे में CBSE को इस ओर भी… Continue reading हाईकोर्ट ने CBSE से 8 हफ्ते में मांगा Examination Fee पर जवाब, पूछा- वापस करना संभव है या नहीं…
कोरोना महामारी ने करोड़ों अमेरिकियों को अपनी राजनीतिक विचारधारा पर पुनर्विचार करने के लिए मजबूर किया है। कारण संभवतः यह है कि इस दौरान आर्थिक गैर बराबरी तेजी से बढ़ी है। दूसरी तरफ राहत पहुंचाने के लिए हुए सरकारी हस्तक्षेप ने सरकार की भूमिका को लेकर अच्छी राय बनाई है। Political Ideology Corona : अमेरिका वह देश है, जहां समाजवाद शब्द एक लांछन रहा है। एक समय जब मैकार्थिज्म का दौर था, समाजवादी या कम्युनिस्ट होना वहां खतरे से खाली नहीं था। ऐसे लोगों को यूनिवर्सिटी या मीडिया से बाहर किया जाता था और सीएआई उनकी निगरानी करती थी। ये तब की बात है, जब अमेरिका और सोवियत खेमे के बीच शीत युद्ध चल रहा था। शीत युद्ध के बाद भी लंबे समय तक मोटे तौर पर समाजवाद को अमेरिकी जनमत के भीतर के नकारात्मक नजरिए से ही देखा जाता था। अपने को सोशलिस्ट मानने वाले लोग कितने दबाव में रहते थे उसकी एक मिसाल बर्नी सैंडर्स हैं। 2015 के पहले उन्हें विदेशों में शायद ही कोई जानता था। लेकिन 2015 में जब वे राष्ट्रपति चुनाव में डेमोक्रेटिक पार्टी की उम्मीदवारी हासिल करने की होड़ में उतरे, तो उन्हें मिली लोकप्रियता को देख कर लोग हैरत में रह गए। जाहिर… Continue reading ये बदलाव गौरतलब है
नई दिल्ली | कोरोना महामारी के कारण लंबे समय से बंद पड़े स्मारकों को लेकर आज एक बड़ी घोषणा कर दी गई है. दूसरी लहर के कमजोर पड़ने के बाद से भारत सरकार से इसे फिर से खोले जाने का फैसला लिया है. इस संबंध में केंद्रीय पर्यटन और संस्कृति राज्य मंत्री प्रहलाद सिंह पटेल ने जानकारी देते हुए कहा कि देश के लोग एक बार फिर से 16 जून से देश की एतिहासिक विरासतों का दीदार कर सकेंगे. जानकारी के अनुसार 16 जून से इन स्मारकों और ऐतिहासिक धरोहरों को एक बार फिर से आम लोगों के लिए खोल दिया जाएगा. यहां बता दें कोरोना की दूसरी लहर से उत्पन्न हुए हालातों को देखते हुए देश के सभी स्मारकों और ऐतिहासिक धरोहरें 15 अप्रैल से बंद पड़े हैं. पहले इन्हें 15 मई तक बंद किया गया था बाद में इसे कोरोना के मामलों को देखते हुए 31 मई तक के लिए बढ़ा दिया गया था. केंद्रीय पर्यटन और संस्कृति राज्य मंत्री ने ट्वीट कर दी जानकारी देश के केंद्रीय पर्यटन और संस्कृति राज्य मंत्री प्रहलाद सिंह पटेल ने इस संबंध में ट्वीट कर दी जानकारी दी. उन्होंने अपने ट्वीट में कहा कि आज पर्यटन मंत्रालय ने सभी स्मारकों को… Continue reading Corona Relief: राष्ट्रीय स्मारकों और एतिहासिक धरोहरों का फिर हो सकेगा दीदार, इस दिन से जा सकते हैं घूमने
नई दिल्ली: कोरोना महामारी में योगी सरकार UP में कोविड-19 पर काबू पाने के लिए कई सफल प्रयास कर रही है।इसी के साथ योगी सरकार ने कई नए नियम और कानून लागू किए है। कोरोना महामारी के बीच यूपी में सरकारी कर्मचारियों की कई यूनियनें अपनी मांगों को लेकर हड़ताल की तैयारी कर रही हैं। वहीं यूपी की योगी आदित्यनाथ सरकार ने सख्त रुख अपनाते हुए प्रदेश में एस्मा कानून लागू कर दिया है। इसे भी पढ़ें 7 Years Of Modi Goverment: मोदी सरकार ने 7 सालों में किये ‘काम’ या किया ‘कारनामा’, बात आंकड़ों पर…. कोई सरकारी कर्मचारी हड़ताल पर नहीं जा सकता जानकारी के मुताबिक यूपी सरकार की ओर से लागू किए गए एस्मा कानून का पूरा नाम आवश्यक सेवा अनुरक्षण अधिनियम 1966 है। इसके साथ ही यूपी में सभी सरकारी सेवाओं में हड़ताल पर रोक लगा दी गई है। यूपी सरकार के अधीन सभी लोक सेवा, प्राधिकरण, निगम समेत सभी सरकारी विभागों पर यह आदेश लागू रहेगा। इस कानून के तहत कोई भी सरकारी कर्मचारी अपनी मांगो के लिए हड़ताल पर नहीं जा सकेगा। जितने समय तक यह कानून लागू रहेगा कोई भी कर्मचारी हड़ताल पर नहीं जा सकेगा। छः महीने के लिए लगाया एस्मा सूत्रों के अनुसार… Continue reading योगी सरकार ने एस्मा कानून के तहत सरकारी सेवाओं में हड़ताल पर लगाई रोक
असफलताओं को महान बताना एक किस्म का विशेषण विपर्यय है, लेकिन यह जरूरी है क्योंकि इन दो सालों की असफलताएं इतनी बड़ी हैं कि कोई दूसरा विशेषण उसके साथ न्याय नहीं कर सकता। ये असफलताएं हर किस्म की हैं। यह भी पढ़ें: आंसुओं को संभालिए साहेब! यह भी पढ़ें: कमान हाथ में लेने की नाकाम कोशिश! वैसे तो नरेंद्र मोदी को प्रधानमंत्री बने सात साल हो गए हैं। लेकिन सिर्फ दो साल का आकलन इसलिए क्योंकि पहले पांच साल के उनके कामकाज पर देश की जनता ने अपनी सहमति दी है। उन्हें पहले से ज्यादा वोट और ज्यादा सीटें देकर फिर से सत्ता सौंपी। नोटबंदी और जीएसटी जैसी महान भूलों को जनता ने क्षमा किया या स्वीकार करके आगे बढ़ने का निश्चय किया। उन पांच सालों की बातें भले इतिहास में जिस रूप में दर्ज हुई हों पर भारत के लोकतांत्रिक इतिहास में उसे एक सफलता के तौर पर देखा जाएगा। उसकी सफलता थी, जो नरेंद्र मोदी ज्यादा बड़े बहुमत के साथ 30 मई 2019 को फिर से देश के प्रधानमंत्री बने। आजाद भारत के इतिहास में वे तीसरे नेता हैं, जिन्होंने अपना पांच साल का कार्यकाल पूरा करके लगातार दूसरी बार प्रधानमंत्री पद की शपथ ली। अगले हफ्ते उनके… Continue reading महान असफलताओं के दो साल!
प्रस्ताव है कि भविष्य की महामारियों के लिए दुनिया को तैयार रखने के लिए वैश्विक सहयोग की जमीन तैयार की जाए। कोरोना महामारी के दौरान ये साफ हुआ कि दुनिया इसके मुकाबले के लिए तैयार नहीं थी। दुनिया की स्वास्थ्य व्यवस्था कोरोना महामारी के आगे बहुत कमजोर साबित हुई। भविष्य की महामारियों को रोकने के लिए एक वैश्विक संधि हो जाए, तो बेहतर ही होगा। आखिर संधि एक पैमाना होती है, जिसकी रोशनी में देश और दुनिया के कदमों को जांचा- परखा जाता है। लेकिन संधि पर बातचीत के लिए ये सही वक्त है, इस बारे में अगर कुछ देशों के मन में सवाल हैं, तो उन्हें भी सिरे से नकारा नहीं जा सकता। गौरतलब है कि विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्लूएचओ) के तहत महामारियों के बारे में वैश्विक संधि करने का प्रस्ताव आया है। डब्लूएचओ की बैठक 24 मई से शुरू हो रही है। लेकिन जो चर्चा चल रही है, उससे साफ है कि ऐसी संधि के रास्ते में कई अड़चनें हैं। जबकि संधि के समर्थक देशों का कहना है कि अभी बातचीत शुरू की जाए और धीरे-धीरे इस दिशा में आगे बढ़ा जाए। संधि का विचार सबसे पहले यूरोपियन काउंसिल ने सामने रखा था। दो दर्जन देशों का समर्थन… Continue reading संधि हो तो बेहतर
कोरोना महामारी (corona) के बीच फंगल संक्रमण(fungul infection) का कहर भी जारी है। कई राज्यों में एक के बाद एक ब्लैक फंगस (Black Fungus) के ढेरों मरीजों के आने के बाद केंद्र सरकार ने प्रभावित राज्यों में इसे महामारी घोषित करने को कहा। राजस्थान(rajasthan) में ब्लैक फंगस(black fungus) को महामारी घोषित कर दिया है। राजस्थान में कोरोना के साथ ब्लैक फंगस के भी मरीज आ रहे है। ब्लैक फंगस (black fungus) के कारण राजस्थान में मौत भी हो गयी है। इस इंफेक्शन के खात्मे की शुरुआत भी नहीं हो सकी थी, कि एकाएक वाइट फंगस (White Fungus) के मरीज भी आने लगे। डॉक्टर्स अभी ब्लैक फंगस को समझ ही रहे थे कि व्हाइट फंगस भी आ गया। विशषज्ञों (experts)के मुताबिक ये नया संक्रमण ब्लैक फंगस से भी ज्यादा खतरनाक है क्योंकि ये केवल एक अंग नहीं, बल्कि फेफड़ों और ब्रेन से लेकर हर अंग पर असर डालता है। पटना में व्हाइट फंगस के चार मरीज मिले है। इसे भी पढ़ें हम नहीं सुधरेंगे ! रिपोर्ट में हुआ खुलासा- 50 प्रतिशत लोग अब भी नहीं पहनते मास्क, इनमें भी 14 फीसदी ही सही तरह से करते हैं मास्क का प्रयोग लगभग हर अंग पर असर करता है चिकित्सकीय भाषा में इसे कैंडिडा… Continue reading WHITE FUNGUS: क्या है व्हाईट फंगस, क्या ये ब्लैक फंगस से भी ज्यादा खतरनाक है??
मुंबई | कोरोना महामारी से देश भर में हाहाकार मचा हुआ है। इस कठिन समय में बॉलीवुड और टीवी इंडस्ट्री (Bollywood and TV Industry) के कलाकार लोगों की मदद के लिये आगे आ रहे हैं। कोरोना महामारी में जरूरतमंद लोगों की मदद के लिए बॉलीवुड के दबंग स्टार सलमान खान (Salman Khan) जरूरतमंदों कोरोना मरीजों को फ्री में ऑक्सीजन कंसंट्रेटर्स (Oxygen Concentrators) देने जा रहे हैं। सलमान खान (Salman Khan) ने 500 ऑक्सीजन कंसंट्रेटर्स ऑर्डर किए हैं। सलमान ने जीशान सिद्दीकी की शेयर की गई तस्वीर को इंस्टाग्राम अकाउंट पर री-पोस्ट कर जानकारी दी है।तस्वीर में बहुत सारे ऑक्सीजन कंसंट्रेटर्स (Oxygen Concentrators) नजर आ रहे हैं और उसके पास दो आदमी खड़े हैं जो आपस में बात कर रहे हैं। इसे भी पढ़ें – प्रियंका गांधी ने CM योगी आदित्यनाथ को लिखा पत्र, कहा- ‘संकट की घड़ी में लोगों को अकेला न छोड़ें’ 500 ऑक्सीजन कंसंट्रेटर्स (Oxygen Concentrators) मुंबई पहुंच चुके हैं। सलमान खान (Salman Khan) ने तस्वीर शेयर करते हुए लिखा, ये ऑक्सीजन कंसंट्रेटर्स फ्री में दिए जाएंगे लेकिन इन्हें इस्तेमाल के बाद वापस जरूर कर दिया जाए। इसके साथ सलमान ने हेल्पलाइन नंबर भी शेयर किया है। इसे भी पढ़ें – Oxygen Rich Fruits: अगर आप चाहते है आपके शरीर… Continue reading Salman Khan मुफ्त में कोरोना मरीजों को देंगे Oxygen Concentrators, जारी किया हेल्पलाइन नंबर
कोरोना महामारी में ऑक्सीजन लेवल सबसे ज्यादा प्रभावित होता है। कोरोना वायरस फेफड़ों पर असर डालता है। फिर मरीज का ऑक्सीजन लेवल कम हो जाता है। अंत में उसकी मौत हो जाती है। कोरोना की दूसरी लहर में सबसे पहले ऑक्सीजन लेवल कम हो रहा है। इसलिए लोग इसबार अपना ऑक्सीजन लेवल कम करने के लिए तरह-तरह के उपाय कर रहे है। वैसे अगर देखा जाए तो कोरोना महामारी में लोग जितना इम्यूनिटी और ऑक्सीजन को लेकर जागरूक हुए शायद ही कभी इतना इन पे ध्यान दिया होगा। असल में शरीर के सभी अंगों को सुचारू रूप से काम करने के लिए ऑक्सीजन की जरूरत पड़ती है। शरीर में ये ऑक्सीजन खून के जरिए सभी अंगों तक पहुंचता है। इसलिए खून में अगर ऑक्सीजन की कमी होती है तो इससे शरीर के विभिन्न अंगों के विकास पर बुरा प्रभाव पड़ता है। इस कोरोना महामारी में शरीर में ऑक्सीजन का लेवल बनाए रखना बहुत जरूरी है। शरीर में ऑक्सीजन की कमी को दूर करने के लिए आप अपनी डाइट में हेल्दी फ्रूट्स को शामिल कर सकते हैं ये ना केवल ऑक्सीजन का लेवल बनाने में मदद करेंगे बल्कि आपको हेल्दी रखने में भी मदद कर सकते हैं। इसे भी पढ़ें CORONA VACCINE… Continue reading Oxygen Rich Fruits: अगर आप चाहते है आपके शरीर का ऑक्सीजन लेवल बना रहें तो नियमित रूप से खांए ये फ्रूट्स..