खड़गे ने पुरानों को क्यों रखा, क्यों छोड़ा?
वैसे तो सोनिया और राहुल गांधी ने कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे को कामकाज की स्वायत्तता दी है। वे स्वतंत्र होकर फैसले कर रहे हैं। लेकिन सबको पता है कि जब नेहरू-गांधी परिवार के तीन तीन सदस्य सक्रिय राजनीति में हों तो किसी बाहरी नेता के लिए स्वतंत्र होकर काम करना कितना मुश्किल होता है। बहरहाल, खड़गे ने अध्यक्ष बनने के 10 महीने बाद और अध्यक्ष पद पर अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी की मुहर लगने के छह महीने बाद कांग्रेस कार्य समिति का गठन किया है। उनकी बनाई भारी भरकम समिति में कई सदस्यों को शामिल किए जाने और अनेक बड़े...