सुन भर लेने की चेतावनी
अब तो दुनिया कुछ इस तरह बंट गई है कि साझा चिंता के विषय कहीं पीछे छूट गए हैँ। बहरहाल, संयुक्त राष्ट्र की अंतर-सरकारी एजेंसी- आईपीसीसी ने फिर एक रिपोर्ट पेश की है। लेकिन उसकी परवाह कौन करेगा? जलवायु परिवर्तन से संबंधित चेतावनियों से पहले भी कोई ज्यादा फर्क नहीं पड़ रहा था, लेकिन अब तक इनका महत्त्व बस सुन भर लेने लायक बचा है। यूक्रेन युद्ध के पहले तक यह स्थिति कि ऐसी चेतावनियों पर दुनिया भर की सरकारें चिंता जताती थीं। वे जलवायु परिवर्तन रोकने के लिए वैश्विक साझा प्रयासों का संकल्प दिखाती थीं। लेकिन अब तो दुनिया...