राज्य सरकार ने बताया है कि एक संक्रमित का इलाज कोझिकोड में जबकि दूसरे का इलाज कोच्चि में किया जा रहा है। इन दो नए मामलों के सामने आने के बाद केरल में संक्रमितों की संख्या 505 हो गई है, जिनमें से सिर्फ 17 लोग अस्पताल में हैं। यहां चार लोगों की मौत इस वायरस के संक्रमण से हुई है जबकि 484 लोग ठीक होकर घर जा चुके हैं।
गौरतलब है कि सोमवार को केंद्र सरकार ने विदेश में फंसे भारतीयों को सात मई से चरणबद्ध तरीके से वापस लाने के लिए योजनाओं की घोषणा की थी। इसे पहले खाड़ी युद्ध के दौरान भारतीयों को वहां निकालने के अभियान के बाद सबसे बड़ा अभियान बताया जा रहा था। बहरहाल, सरकार के दिशा-निर्देशों के मुताबिक जिन लोगों को वापस लाया जा रहा है उन्हें हवाईअड्डे से ही कोरोना वायरस की जांच के लिए एंटीबॉडी टेस्ट कराने के साथ-साथ कई स्तर की जांच से गुजरना होगा। साथ ही भारत पहुंचने पर उनकी थर्मल जांच भी की जाएगी।
ढाका से लौटे 129 लोग
कोरोना वायरस के संक्रमण और दुनिया भर में लागू लॉकडाउन के बीच प्रवासी भारतीयों को निकालने के अभियान वंदे भारत का शनिवार को तीसरा दिन था। शनिवार को पहली फ्लाइट बांग्लादेश की राजधानी ढाका से आई। करीब पौने चार बजे शाम को दिल्ली हवाईअड्डे पर यह विमान पहुंचा। इसमें 129 लोग आए हैं। शनिवार को देर रात तक अलग-अलग देशों से सात उड़ानें और भारत पहुंचीं।
इससे पहले मिशन के दूसरे दिन यानी शुक्रवार को पांच उड़ानों से भारतीयों की वापसी हुई थी। शुक्रवार को भी पहली फ्लाइट दोपहर 12 बजे दिल्ली पहुंची थी। इसमें सिंगापुर से 234 लोग आए। मिशन के पहले दिन यानी सात मई को पहली फ्लाइट अबू धाबी से 181 भारतीयों को लेकर कोच्चि पहुंची। इनमें से पांच लोगों में कोरोना वायरस के लक्षण दिखने पर उन्हें आइसोलेशन वार्ड में भेज दिया गया। दूसरी उड़ान दुबई से 182 यात्रियों को लेकर कोझिकोड आई। इन दोनों उड़ानों में से एक-एक व्यक्ति के कोरोना संक्रमित होने की पुष्टि हुई है।