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पवार की पार्टी में खींचतान जारी

माना जा रहा है कि एनसीपी सुप्रीमो शरद पवार ने अपने इस्तीफे के दांव से परिवार और पार्टी का झगड़ा काफी हद तक निपटा लिया है। लेकिन असल में ऐसा नहीं है। उनकी पार्टी में खींचतान अब भी जारी है और नेताओं के विवाद खुल कर सामने आ रहे हैं। उनके भतीजे और पार्टी के नंबर दो नेता अजित पवार अब भी नाराज हैं और भाजपा से नजदीकी दिखाने का कोई मौका छोड़ नहीं रहे हैं। ध्यान रहे उनके बारे में पिछले दिनों खबर थी कि वे भाजपा के संपर्क में हैं और एनसीपी के कुछ विधायकों को लेकर भाजपा के साथ जा सकते हैं। यह भी बताया गया था कि उन्होंने भाजपा में जाने की धमकी देकर शरद पवार को अपनी बेटी सुप्रिया सुले को पार्टी का राष्ट्रीय अध्यक्ष बनाने से रोका था।

बहरहाल, अजित पवार ने एक बार फिर कहा है कि अगर स्पीकर शिव सेना के एकनाथ शिंदे गुट के 16 विधायकों को अयोग्य ठहरा देते हैं तब भी राज्य की सरकार पर कोई असर नहीं होगा। इससे पहले उन्होंने यह बात सुप्रीम कोर्ट के फैसले से पहले कही थी। पार्टी के अंदर खींचतान का आलम यह है कि एक तरफ अजित पवार दावा कर रहे हैं कि एकनाथ शिंदे की सरकार नहीं गिरने जा रही है तो दूसरी ओर उनकी पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष जयंत पाटिल ने प्रेस कांफ्रेंस करके दावा किया है कि स्पीकर ने अगर 16 विधायकों को अयोग्य ठहराया तो शिंदे सरकार गिर जाएगी। उन्होंने यह भी दावा किया कि अगर स्पीकर 16 विधायकों को अयोग्य ठहरा दें तो बचे हुए विधायक पाला बदल कर वापस उद्धव ठाकरे के साथ चले जाएंगे और प्रदेश की पूरी राजनीति बदल जाएगी। पार्टी के दोनों नेताओं की इस तरह की बयानबाजी से एनसीपी कार्यकर्ताओं में कंफ्यूजन बना हुआ है।

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