सर्वजन पेंशन योजना
chardham yatra banned : राज्य सरकार और हाइकोर्ट की तनातनी के बाद उत्तराखंड हाइकोर्ट ने चारधाम यात्रा को किया रद्द

देहरादून |  उत्तराखंड में चारधाम यात्रा पर निर्णय लेने का सिलसिला लंबे समय से चल रहा है। कभी सरकार हामी भरती है तो हाइकोर्ट रोक लगा देती है। लेकिन आखिरकार चारधाम यात्रा पर निर्णय लिया जा चुका है। तीरथ सरकार ने चारधाम यात्रा को 1 जुलाई 2021 से जिलास्तर पर खोलने का निर्णय लिया था उस फैसले पर उत्तराखंड हाइकोर्ट (Chardham Yatra banned )  ने रोक लगाई है। तीरथ सिंह रावत वाली सरकार ने कुछ समय पहले कहा था कि चारधाम यात्रा को चमोली, रूद्रप्रयाग और उत्तरकाशी जिलों के निवासियों के लिए शुरु की जा रही है। वह भी कोरोना की नेगेटिव रिपोर्ट के साथ। also read: चारधाम यात्रा को लेकर फिर बना संशय, उत्तराखंड हाइकोर्ट ने कहा- एक बार फिर विचार की जरूरत.. राज्य सरकार लाइव दर्शन की व्यवस्था करें इसके अलावा उत्तराखंड हाईकोर्ट ने राज्‍य सरकार की आधी अधूरी जानकारी को लेकर भी नाराजगी जताई है। यही नहीं, उतराखंड हाईकोर्ट ने राज्य सरकार को आदेश दिया है कि वह श्रद्धालुओं ( Chardham Yatra banned ) के लिए चारधाम के लाइव दर्शन करने की व्यवस्था करे। वहीं, इस मामले की सुनवाई की अगली तारीख को लाइव दर्शन के इतंजाम पर रिपोर्ट देने का आदेश दिया है। कुछ भक्तों की यह… Continue reading chardham yatra banned : राज्य सरकार और हाइकोर्ट की तनातनी के बाद उत्तराखंड हाइकोर्ट ने चारधाम यात्रा को किया रद्द

चारधाम यात्रा को लेकर फिर बना संशय, उत्तराखंड हाइकोर्ट ने कहा- एक बार फिर विचार की जरूरत..

देहरादून |  पिछले कुछ समय से चारधाम यात्रा ( Doubt created again chardhamyatra )को लेकर कई निर्णय बदले जा चुके है। हाल ही में उत्तराखंड सरकार ने 1 जुलाई से जिला स्तर पर चारधाम यात्रा की अनुमति दे दी थी। इस फैसले पर उत्तराखंड हाइकोर्ट ने आप्पति जताई है। उत्तराखंड हाइकोर्ट ने इस फैसले को वापस लेने की बात कही है। जम्मू व कश्मीर में श्री अमरनाथ यात्रा को हाल ही में रद्द किया गया है। कोरोना के भय से बाबा बर्फानी की विश्व प्रसिद्ध यात्रा पर रोक लगा दी गई है। उत्तराखंड हाइकोर्ट ने अमरनाथ यात्रा की बात चारधाम यात्रा पर संशय जताते हुए कही थी। और कहा है कि मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत को भी चारधाम की यात्रा रोकनी चाहिए या स्थगित कर देनी चाहिेए। दूसरी तरफ उत्तराखंड कैबिनेट ने कुछ शर्तों और गाइडलाइनों के साथ चारधाम यात्रा को शुरू करने के बारे में प्रेस को पूरी जानकारी दी थी। श्रद्धालुओं को चारधाम यात्रा को लेकर एक बार फिर इंतजार करना पड़ सकता है। क्योंकि कोरोना के भय से यात्रा पर फिर कोई बड़ा निर्णय आ सकते है। कोई भी खतरा मोल नहीं लेना चाहता है। इस कारण हाइकोर्ट ने यह बात कही है। also read: विश्व स्वास्थ्य संगठन… Continue reading चारधाम यात्रा को लेकर फिर बना संशय, उत्तराखंड हाइकोर्ट ने कहा- एक बार फिर विचार की जरूरत..

Char Dham Yatra Start : इस तारीख से श्रद्धालुओं के लिए चारधाम यात्रा का होगा श्री गणेश, कारोबारियों के लिए खुला कमाई का रास्ता

Char Dham Yatra Start देहरादून |  पिछले कुछ दिनों से चारधाम यात्रा को खोलने ( Char Dham Yatra Start ) को लेकर संशय बना हुआ था। सरकार ने खोल दी फिर बंद कर दी गई। इसके बाद भी नैनीतील हाइकोर्ट में इस फैसले पर बातचीत हो रही थी। लेकिन आखिरकार भक्तों के लिए सरकार ने एक खुशखबरी का ऐलान कर दिया है। देवभूमि उत्तराखंड में एक जुलाई से चारधाम यात्रा का श्री गणेश होने जा रहा है। लेकिन शुरुआत में यह यात्रा उत्तराखंड के कुछ जिलों के लिए ही प्रारंभ की गई है। 1 जुलाई से लेकर 10 जुलाई तक इस यात्रा का प्रारंभ  केवल चमोली, रूद्रप्रयाग व उत्तरकाशी जिलों के निवासियों केलिए ही की गई है। लेकिन जिले के लोग भी कोरोना नेगेटिव रिपोर्ट दिखाकर इस यात्रा का आनंद ले पाएंगे। चमोली, रूद्रप्रयाग व उत्तरकाशी  के लोगों को भी इस कारण अनुमति दी गई है क्योंकि चारधाम यात्रा इन तीन जिलों में ही स्थित है। 10 जुलाई तक जिलास्तर पर चारधाम यात्रा की अनुमति दी है और कोरोना के मामले नियंत्रण में रहें तो 11 जुलाई से अन्य राज्यों के लोगों को बी अनुमति दे दी जाएंगी। बाद में भी सबी राज्यों को कोरोना की नेगेटिव रिपोर्ट दिखानी अनिवार्य होगी।… Continue reading Char Dham Yatra Start : इस तारीख से श्रद्धालुओं के लिए चारधाम यात्रा का होगा श्री गणेश, कारोबारियों के लिए खुला कमाई का रास्ता

उत्तराखंड में बाढ़ का रेड अलर्ट, अलकनंदा-मंदाकिनी ने लिया रौद्र रूप, प्रशासन ने नदी किनारे वालों को किया सचेत

नैनीताल |  देवभूमि उत्तराखंड में बीते दो दिनों से भारी बारिश हो रही है। कई जगह भूस्खलन का भी सामना करना पड़ा। पहाड़ी इलाकों में मॉनसून शुरु होते ही खतरे की घंटे बज जाती है। भारी बारिश  के बाद गंगा, अलकनंदा, मंदाकिनी, पिंडर आदि नदियां उफान पर आ गई है। उत्तराखंड में 2013 में आई बाढ़ के बाद मंदाकिनी नदी का भय बन गया है। मानसून की भारी बारिश के बाद नदियों ने अपना जलस्तर बढ़ा दिया है। रुद्रप्रयाग में अलकनंदा व मंदाकिनी का जलस्तर खतरे के निशान से ऊपर हो गया है।  प्रशासन ने नदी किनारे रहने वालों के लिए अलर्ट ज़ारी किया है। चारधाम यात्रा बंद होने से अभी ज्यादा आवाजाही नहीं है। लेकिन फिर भी सड़कों पर लंबा जाम लग गया है। हाल ही में बद्रीनाथ नेशनल हाइवे पर भूस्खलन होने से रास्ता जाम हो गया। और मलबे को हटाने की काम हो रहा है। also read: uttarakhand : देवभूमि में भारी बारिश के चलते हुआ भूस्खलन, बद्रीनाथ नेशनल हाईवे ठप भारी बारिश के बाद प्रशासन का अलर्ट प्रशासन ने रुद्रप्रयाग व श्रीनगर में नदी किनारे रहने वालों को सुरक्षित स्थानों पर जाने के लिए अलर्ट किया। साथ ही कहा है कि कोई भी नदी किनारे वना जाए। इससे… Continue reading उत्तराखंड में बाढ़ का रेड अलर्ट, अलकनंदा-मंदाकिनी ने लिया रौद्र रूप, प्रशासन ने नदी किनारे वालों को किया सचेत

chardham yatra postponed : सीएम रावत ने चारधाम यात्रा का आदेश लिया वापिस, श्रद्धालुओं के लिए यात्रा फिर हुई स्थगित

कल सीएम रावत ने चारधाम यात्रा को खोलने का आदेश दिया था। कोरोना के कम होते मामले को देख यह निर्णय लिया था। चारधाम यात्रा उत्तराखंड के कुछ जिलों के लिए खोली गई थी। लेकिन अब यह आदेश वापिस ले लिया गया है। उत्तराखंड की सीएम रावत की सरकार ने चमोली, रुद्रप्रयाग और उत्तरकाशी के लोगों के लिए चारधाम यात्रा खोलने के आदेश को रद्द कर दिया गया है। उत्तराखंड की तीरथ सिंह रावत सरकार में कैबिनेट मंत्री सुबोध उनियाल ने कहा है कि चारधाम यात्रा खोलने को लेकर नैनिताल हाईकोर्ट में सुनवाई चल रही है। चारधाम यात्रा श्रद्धालुओं के लिए खोलने को लेकर राज्य सरकार 16 जून के बाद इस पर विचार करेगी। सूत्रों की मानें तो कोरोना के खतरे को लेकर सरकार ने यह निर्णय वापिस लिया है। पिछली रिपोर्ट के अनुसार उत्तराखंड में कोरोना के एक्टिव केस साढे चार हजार है। ऐसे में सीएम कुंभ की तरह कोई और खतरा नहीं ले सकते है। मीडिया रिपोर्ट की मानें तो कोरोना के खतरे के कारण ही चारधाम यात्रा का आदेश स्थगित किया गया है। अब श्रद्धालुओं को अपने अराध्य के दर्शन के थोड़ा और इंतज़ार करना पड़ेगा।   also read: chardham yatra starts : उत्तराखंड में कोरोना कर्फ्यु के… Continue reading chardham yatra postponed : सीएम रावत ने चारधाम यात्रा का आदेश लिया वापिस, श्रद्धालुओं के लिए यात्रा फिर हुई स्थगित

चमोली हादसे में मरने वालों की संख्या 206 हुई

उत्तराखंड के चमोली में ग्लेशियर टूट कर गिरने से आई बाढ़ में बह कर लापता हो गए 136 लोगों को मरा हुआ मान लिया गया है। हादसे के 17 दिन बाद राज्य सरकार ने इन सभी लापता लोगों को मृत घोषित कर दिया।

चमोली में 12 और शव मिले!

उत्तराखंड के चमोली में पिछले रविवार को ग्लेशियर टूट कर नदी में गिरने से आई बाढ़ में बह गए और एनटीपीसी की सुरंग में फंसे लोगों की तलाश और उन्हें निकालने का अब आठवें दिन भी जारी रहा।

तपोवन में बचाव कार्य जारी

चमोली में ग्लेशियर नदी में गिरने से आई बाढ़ के छह दिन बाद भी बचाव कार्य जारी है। रविवार को हुए हादसे के बाद राहत व बचाव टीम को अब तक 36 शव मिले हैं।

पांचवें दिन भी बचाव कार्य जारी

चमोली में ग्लेशियर गिरने से आई बाढ़ की वजह से एनटीपीसी की सुरंग में फंसे लोगों को निकालने के लिए हादसे के तीसरे दिन भी बचाव अभियान जारी रहा

संपूर्ण मानवता के खिलाफ हिमालयी भूल!

हिमालय की चोटियों पर और उसकी तलहटी में भी कुछ ऐसा हो रहा है, जिसे आंख मूंद कर विकास की होड़ में लगे लोग देख नहीं पा रहे हैं। बार-बार हिमालय की ओर से इसका संकेत भी दिया जा रहा है

चिंता का पहलू दूरगामी है

उत्तराखंड में हुए ताजा हादसे को देखें तो नुकसान के लिहाज से इसे बहुत बड़ी घटना नहीं माना जाता। इसके बावजूद इसकी खबर दुनिया भर में सुर्खियों में छायी हुई है

दो सौ के करीब लोग अब भी लापता

उत्तराखंड के चमोली जिले में ग्लेशियर टूट कर गिरने से आई बाढ़ में बह गए दो सौ के करीब लोग अब भी लापता है। 24 घंटे से ज्यादा बीतने के बाद कुल 30 के करीब लोगों के शव बरामद किए गए हैं

सुरंग में फंसे लोगों को निकालने का अभियान

उत्तराखंड के चमोली जिले में ग्लेशियर टूट कर नदी में गिरने से आई बाढ़ में बह गए लोगों को तलाशने या बचाने का काम 24 घंटे बीतने के बाद भी सोमवार को जारी रहा।

उत्तराखंड में क्षतिग्रस्त सुरंग में मलबा भरा, 170 लापता

उत्तराखंड में चमोली जिले में रविवार को प्राकृतिक ग्लेशियर टूटने से उत्पन्न परिस्थितियों से सोमवार सुबह तक निजात नहीं मिल सकी और अब तक लगभग 170 व्यक्तियों के लापता होने की जानकारी मिली है।

ग्लेशियर टूटा, 170 की मौत का अंदेशा

उत्तराखंड एक और भीषण प्राकृतिक आपदा का शिकार हुआ है। रविवार की सुबह राज्य के चमोली जिले के तपोवन में एक ग्लेशियर टूट कर ऋषिगंगा नदी में गिर गया।

और लोड करें