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  • हथियारों का चमकता धंधा

    हथियार व्यापारियों का धंधा चमक उठा है। स्वीडन में स्टॉकहोम स्थित संस्था सिपरी ने अपनी एक ताजा रिपोर्ट में कहा है कि इस वक्त हथियारों, गोला-बारूद और दूसरे सैन्य साज-ओ-सामान पर विभिन्न देश जितना धन खर्च कर रहे हैं, उतना इससे पहले कभी नहीं हुआ। दुनिया पर युद्ध का साया गहराता जा रहा है। यूक्रेन के बाद पश्चिम एशिया युद्ध की आग में झुलस रहा है। उधर दक्षिण चीन सागर और ताइवान जलडमरूमध्य में भी तनाव लगातार बढ़ा है। भारत-चीन सीमा पर की हालात भी कोई कम चिंताजनक नहीं हैं। इन स्थितियों से विभिन्न देशों की प्राथमिकताएं बदली हैं। नतीजतन,...