ये टकराव ठीक नहीं
पहला मौका है, जब राष्ट्रपति के रेफरेंस का स्वरूप परामर्श मांगने के बजाय न्यायिक निर्णय को चुनौती देने जैसा मालूम पड़ा है। संविधान के अनुच्छेद 200 के बारे में सुप्रीम कोर्ट ने जो स्पष्टता लाई थी, स्पष्टतः वह केंद्र को मंजूर नहीं हुआ। वैसे तो यह 15वां मौका है, जब किसी राष्ट्रपति ने संविधान के अनुच्छेद 143 का उपयोग कर किसी मामले को सुप्रीम कोर्ट के पास भेजा है। लेकिन यह पहला मौका है, जब इस रेफरेंस का स्वरूप परामर्श मांगने के बजाय सर्वोच्च न्यायालय के एक निर्णय को चुनौती देने जैसा मालूम पड़ता है। संविधान के अनुच्छेद 200 की...