Bhutan

  • चीन के मंसूबों की अनदेखी नहीं हो!

    हांगकांग के ‘साउथ चाइना मॉर्निंग पोस्ट’ की रिपोर्ट में बताया गया है कि चीनी सरकार भूटान सीमा में उन गांवों के निकट का निर्माण/विस्तार कर रही है, जो सुरक्षा की दृष्टि से भारतीय सीमा के लिए महत्वपूर्ण है।....आखिर चीन की मंशा क्या है? वास्तव में, वह भारत को लक्षित करके अपनी साम्राज्यवादी योजना के अनुरूप, भूटान में गांवों का विस्तार करके सीमा को आगे बढ़ाने की कोशिश कर रहा है। India China border dispute क्या भारत, चीन पर विश्वास कर सकता है? जब देश आगामी लोकसभा चुनाव की तैयारियों में व्यस्त है, तब चीन सीमा पर अपनी साम्राज्यवादी नीति को...

  • भूटानः तॉबगे की वापसी

    अब भूटान में नई सरकार बनेगी, लेकिन उससे उसकी विदेश नीति पर ज्यादा फर्क पड़ने की संभावना नहीं है। वहां निर्वाचित सरकारों की सीमित भूमिका ही होती है। हाल के वर्षों में भूटान ने अपेक्षाकृत ज्यादा स्वायत्त रुख अपनाने की कोशिश की है। भूटान में नई संसद के चुनाव में पूर्व प्रधानमंत्री शेरिंग तॉबगे की पीपल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी) को बड़ी जीत मिली है। उसे सदन के 47 में से 30 सीटें मिलीं। मैदान में दूसरा राजनीतिक दल भूटान टेंड्रेल पार्टी (बीटीपी) थी। उसे 17 सीटें मिली हैं। भूटान में संसदीय चुनाव दो चरणों में होता है। पहले चरण का...

  • भूटान से भी झटका?

    भूटान के प्रधानमंत्री ने बताया है कि चीन के साथ भूटान की सीमा वार्ता अपने आखिरी दौर में है, जिसके बाद दोनों देशों के बीच सीमांकन संभव हो जाएगा। इस प्रक्रिया के तहत चीन के साथ भूटान कुछ इलाकों की अदला-बदली भी कर सकता है। भूटान भारत को एक तगड़ा झटका देने की तैयारी में है। वहां के प्रधानमंत्री लोताय त्सेरिंग ने भारत के एक अंग्रेजी अखबार में एक ऐसी जानकारी दी, जिससे भारतीय विदेश नीति प्रतिष्ठान की नींद उड़ जानी चाहिए। इसके साथ ही उन्होंने जो ऐसी टिप्पणियां भी की हैं, जो भारत के नजरिए से चिंताजनक हैं। त्सेरिंग...

  • भारत और भूटान के बीच शिखर वार्ता

    नई दिल्ली। डोकलाम को लेकर दिए भूटान के प्रधानमंत्री के विवादित बयान के बीच मंगलवार को दोनों देशों के बीच शिखर वार्ता हुई। तीन दिन के भारत दौरे पर आए भूटान नरेश जिग्मे खेसर नामग्येल वांगचुक ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात की। दोनों नेताओं के बीच तमाम दोपक्षीय मसलों पर बातचीत हुई। इससे पहले राष्ट्रपति भवन में उनका स्वागत किया गया और वे राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू से मिले। भारत और चीन के बीच वास्तविक नियंत्रण रेखा पर तनाव और डोकलाम पर दिए विवादित बयान की वजह से भूटान नरेश की भारत यात्रा महत्वपूर्ण मानी जा रही है। भूटान की...

  • भूटान आखिर क्यों छिटका?

    भूटान के रुख में बदलाव के संकेत तो काफी समय से मिल रहे थे, लेकिन ताजा घटनाक्रम में वहां के प्रधानमंत्री लोटे त्शेरिंग ने कम से कम तीन ऐसी बातें कही हैं, जो भारत को पसंद नहीं आ सकतीं। क्या भूटान भी भारत से दूरी बना कर चीन के पाले में जा रहा है? यह सवाल वैसे अब जाकर चर्चित हुआ है, लेकिन ऐसे संकेत काफी समय से मिल रहे थे। ताजा घटनाक्रम में भूटान के प्रधानमंत्री लोटे त्शेरिंग ने बेल्जियम के अख़बार ला लेब्रे को दिए इंटरव्यू में कम से कम तीन ऐसी बातें कहीं, जो भारत को पसंद...