सैन्य कार्रवाई से पहले एकजुटता जरूरी
जम्मू कश्मीर के पहलगाम में बेकसूर सैसानियों पर 22 अप्रैल को हुए आतंकवादी हमले के बाद जैसी एकजुटता देश में दिखी थी और जैसा संकल्प दिख रहा था उसमें कमी आ रही है। एक हफ्ते के अंदर ही राजनीतिक और सामाजिक दोनों स्तरों पर एकता खंडित होती दिख रही है। सत्तापक्ष और विपक्ष में एक दूसरे पर आरोप लगाने का सिलसिला शुरू हो गया है तो सामाजिक स्तर पर भी बिखराव हो गया है। पहलगाम में आतंकवादियों ने धर्म पूछ कर हिंदुओं की हत्या की थी। इससे यह नैरेटिव बना कि धर्म सबसे पहले है जाति नहीं। इस नैरेटिव से...