ipl 2025 ने सिर्फ क्रिकेट नहीं, बल्कि भावनाओं का तूफान खड़ा कर दिया है। बीते 72 घंटों में वो सब कुछ हुआ, जिसका इंतज़ार क्रिकेट फैंस सालों से कर रहे थे। अगर इसे क्रिकेट इतिहास के सबसे यादगार 72 घंटे कहें, तो ज़रा भी अतिशयोक्ति नहीं होगी।
रोमांच की बौछार ऐसी हुई कि फैंस की धड़कनें थमने का नाम ही नहीं ले रही थीं। ये ना सिर्फ डबल, बल्कि ट्रिपल डोज़ था एंटरटेनमेंट का — और हर पल में छिपा था एक नया ट्विस्ट, एक नई कहानी।
इन 72 घंटों ने ipl 2025 के मिज़ाज को पूरी तरह बदल कर रख दिया। जहां कुछ दिन पहले तक ये लीग बस हाई-स्कोरिंग मुकाबलों के लिए जानी जा रही थी, वहीं अब इसमें पुराने दिनों का वही क्लासिक थ्रिल फिर से लौट आया है।
सबसे पहले बात करें सुपर ओवर की — वो क्षण जब मैच की किस्मत एक ही ओवर में तय होती है। उस एक ओवर में हर गेंद, हर रन, हर फैसला दिल की धड़कनों को बढ़ा रहा था।
और तभी मैदान पर उतरे ‘कैप्टन कूल’ महेंद्र सिंह धोनी — एक बार फिर अपने पुराने अंदाज़ में, अपने सिग्नेचर फिनिश के साथ। जैसे वक़्त ठहर गया हो, और स्टेडियम में बैठे हर फैन की आंखें बस उसी एक पल में कैद हो गई हों।
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और अगर आपको लगता है कि बस इतना ही हुआ, तो रुकिए — क्योंकि क्रिकेट का असली रोमांच तब देखने को मिला जब इतिहास का सबसे छोटा स्कोर डिफेंड किया गया। एक समय जो असंभव लगता था, वो हकीकत बन गया।
गेंदबाज़ों ने जैसे संकल्प ले लिया हो कि इस मैच को अपने दम पर जीत कर ही दम लेंगे। फील्डिंग, कैच, रणनीति — सब कुछ एकदम परफेक्ट।
इन 72 घंटों में ipl 2025 ने ये साबित कर दिया कि यह सिर्फ एक लीग नहीं, बल्कि क्रिकेट की सबसे अद्भुत कहानी है — जहां हर गेंद पर सस्पेंस है, हर रन के पीछे एक जज़्बा, और हर जीत-हार में एक गहरी भावना छिपी है।
अब सवाल उठता है — अगर ये सिलसिला यूं ही चलता रहा, तो फैंस का क्या होगा? क्या वो इतना सारा रोमांच एकसाथ झेल पाएंगे? शायद नहीं… लेकिन एक बात तय है — ipl 2025 ने खुद को एक बार फिर क्रिकेट की सबसे बड़ी और सबसे दिलचस्प लीग के रूप में स्थापित कर दिया है।
14 अप्रैल: धोनी – द फिनिशर की धमाकेदार वापसी
ipl 2025 के वो 72 घंटे क्रिकेट प्रेमियों के दिलों में हमेशा के लिए दर्ज हो गए, और इसकी शुरुआत हुई 14 अप्रैल की शाम से — एक ऐसा दिन जिसने ‘धोनी – द फिनिशर’ को दोबारा जीवंत कर दिया।
सोमवार का दिन था, मुकाबला था लखनऊ सुपर जायंट्स बनाम चेन्नई सुपर किंग्स। लखनऊ ने पहले बल्लेबाज़ी करते हुए 167 रनों का चुनौतीपूर्ण लक्ष्य चेन्नई के सामने रखा था।
यह स्कोर साधारण नहीं था, लेकिन चेन्नई की टीम और खासकर धोनी के रहते कोई भी लक्ष्य असंभव नहीं लगता। चेन्नई की पारी उतार-चढ़ाव भरी रही, लेकिन असली ड्रामा तो अंतिम ओवरों में शुरू हुआ।
जब लग रहा था कि मैच हाथ से फिसल सकता है, तब मैदान में उतरे महेन्द्र सिंह धोनी — वही शांत चेहरा, वही आत्मविश्वास, और वही पुराना अंदाज़।
धोनी ने मात्र 11 गेंदों में 26 रन ठोककर यह जता दिया कि “फिनिशर” शब्द अभी भी उन्हीं के नाम से जुड़ा है। उनकी पारी में छक्कों की गूंज, चौकों की रफ्तार और रनिंग बिटवीन द विकेट की चपलता, सब कुछ शामिल था। उन्होंने 19.3 ओवर में ही मैच खत्म कर दिया और चेन्नई को एक शानदार जीत दिलाई।
शेर बूढ़ा हुआ तो क्या खेलना नहीं भूला….
ipl 2025 की इस पारी में न केवल रन थे, बल्कि उस आत्मविश्वास की झलक भी थी जो धोनी को बाकी खिलाड़ियों से अलग बनाती है। उनके बल्ले से निकली हर गेंद ने दर्शकों को झूमने पर मजबूर कर दिया।
पूरे स्टेडियम में ‘धोनी! धोनी!’ की गूंज सुनाई दे रही थी। सोशल मीडिया पर भी यह पारी छा गई, क्रिकेट प्रेमियों ने इसे धोनी की क्लासिक फिनिश कहा।
14 अप्रैल का यह दिन साबित करता है कि चाहे उम्र कुछ भी हो, क्लास और अनुभव का कोई विकल्प नहीं होता। धोनी ने फिर से बता दिया कि जब बात हो अंतिम क्षणों में मैच को खत्म करने की, तो अभी भी वह सबसे ऊपर हैं।
यह मुकाबला सिर्फ एक जीत नहीं था, यह धोनी के क्रिकेटिंग सफर में एक और यादगार अध्याय था — एक अध्याय जिसमें उन्होंने एक बार फिर साबित किया कि “शेर बूढ़ा हुआ तो क्या खेलना नहीं भूला….
15 अप्रैल की शाम –पंजाब किंग्स का जज्बा बना मिसाल
14 अप्रैल की रात क्रिकेट प्रेमियों के लिए खास रही जब महेंद्र सिंह धोनी ने एक बार फिर अपने पुराने ‘फिनिशर’ वाले अंदाज़ से मैदान में जलवा बिखेरा।
मगर उससे भी ज़्यादा चौंकाने वाला नज़ारा देखने को मिला 15 अप्रैल की शाम को, जब ipl के इतिहास में एक ऐसा चमत्कार हुआ जिसकी किसी ने कल्पना तक नहीं की थी।
पंजाब किंग्स और कोलकाता नाइट राइडर्स के बीच मुल्लांपुर स्टेडियम में हुए इस मुकाबले में कुछ ऐसा घटा जो IPL के पन्नों में स्वर्ण अक्षरों में लिखा जाएगा।
ipl 2025 में पंजाब की टीम पहले बल्लेबाज़ी करते हुए सिर्फ 111 रन ही बना सकी — एक ऐसा स्कोर जो आमतौर पर टी20 फॉर्मेट में जीत दिलाने के लिए नाकाफी माना जाता है। क्रिकेट जानकारों और फैंस ने कोलकाता की जीत को लगभग तय मान लिया था।
ipl 2025 में कम स्कोर का पीछा करते हुए KKR को आसान जीत की उम्मीद थी, लेकिन खेल में क्या मोड़ आ सकता है, यह इस मैच ने बखूबी दिखा दिया।
पंजाब किंग्स की गेंदबाज़ी में जुनून, जोश और जज़्बा देखने लायक था। हर गेंद पर एक अलग ऊर्जा दिखाई दे रही थी। टीम ने फील्डिंग में कोई कसर नहीं छोड़ी और गेंदबाज़ों ने ऐसा प्रहार किया कि कोलकाता की मज़बूत बल्लेबाज़ी क्रम ताश के पत्तों की तरह बिखर गई।
सबसे बड़ी भूमिका निभाई गेंदबाज़ चहल ने, जिन्होंने अपने चार ओवर में महज़ 28 रन देकर 4 महत्वपूर्ण विकेट झटके और विरोधी टीम की कमर तोड़ दी। नतीजा ये रहा कि कोलकाता की पूरी टीम महज़ 95 रनों पर सिमट गई।
इस जीत के साथ पंजाब किंग्स ने न केवल एक यादगार मैच अपने नाम किया, बल्कि IPL इतिहास में सबसे छोटे टोटल को डिफेंड करने वाली पहली टीम बनकर एक अनोखा रिकॉर्ड भी अपने नाम कर लिया।
यह मुकाबला न सिर्फ खिलाड़ियों की मेहनत और टीम स्पिरिट का प्रतीक था, बल्कि इस बात का सबूत भी कि क्रिकेट में कुछ भी हो सकता है — जब तक आखिरी गेंद ना डाली जाए, तब तक कुछ भी तय नहीं होता।
15 अप्रैल की यह ऐतिहासिक शाम क्रिकेट प्रेमियों के दिलों में हमेशा के लिए बस गई है। पंजाब किंग्स की यह जीत सिर्फ एक मैच नहीं थी, यह भरोसे, आत्मविश्वास और खेल भावना की जीत थी।
IPL 2025 का पहला सुपर ओवर बना यादगार
16 अप्रैल 2025 की शाम IPL प्रेमियों के लिए बेहद खास रही। इस दिन क्रिकेट के इतिहास में एक और रोमांचक अध्याय जुड़ गया, जब ipl 2025 का पहला सुपर ओवर देखने को मिला। मुकाबला था दिल्ली कैपिटल्स और राजस्थान रॉयल्स के बीच, और दर्शकों को ऐसा रोमांच मिला जिसे वो शायद ही कभी भूल पाएं।
पूरा मैच शुरू से ही बेहद कांटे का रहा। ipl 2025 में पहले बल्लेबाज़ी करते हुए राजस्थान रॉयल्स ने शानदार प्रदर्शन करते हुए 20 ओवर में 188 रन बनाए।
जवाब में दिल्ली कैपिटल्स की टीम ने भी जबरदस्त बल्लेबाज़ी का नमूना पेश किया और ठीक वही स्कोर – 188 रन – बोर्ड पर टांग दिया। नतीजा, मुकाबला टाई हो गया और फिर बारी आई सुपर ओवर की – वो लम्हा जिसमें हर गेंद, हर रन, और हर फैसला दिलों की धड़कनें तेज कर देता है।
सुपर ओवर में राजस्थान रॉयल्स ने पहले बल्लेबाजी की और दिल्ली के गेंदबाज़ों के सामने कुछ खास कमाल नहीं दिखा सके। टीम सिर्फ 12 रन ही बना पाई, जो T20 क्रिकेट के सुपर ओवर में औसत स्कोर माना जाता है। अब बारी थी दिल्ली कैपिटल्स की – और उन्होंने आते ही मैच को अपनी मुट्ठी में ले लिया।
ipl 2025 में दिल्ली की ओर से बल्लेबाज़ी करने उतरे खिलाड़ियों ने चौथी ही गेंद पर 12 रन का लक्ष्य हासिल कर लिया। न कोई दबाव, न कोई घबराहट – बस आत्मविश्वास से भरी बैटिंग और क्लीन शॉट्स की बौछार। जैसे ही चौथी गेंद पर चौका लगाकर दिल्ली ने जीत दर्ज की, स्टेडियम में उत्साह का सैलाब उमड़ पड़ा।
यह मुकाबला ना सिर्फ ipl 2025 के अब तक के सबसे रोमांचक मैचों में से एक बन गया, बल्कि यह सुपर ओवर भी दर्शकों की यादों में लंबे समय तक बना रहेगा। 16 अप्रैल की यह शाम क्रिकेट प्रेमियों के दिलों में बस गई – रोमांच, संघर्ष और जश्न का अनूठा संगम लेकर।