MNREGA

  • बिहार में 1.23 करोड़ मनरेगा जॉब कार्ड निरस्त

    पटना। बिहार सरकार (Bihar Government) के ग्रामीण विकास विभाग ने पिछले एक साल में (30 अप्रैल तक) महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना (मनरेगा) के तहत जारी 1.2 करोड़ से अधिक ‘निष्क्रिय’ जॉब कार्ड निरस्त कर दिये हैं। बिहार के ग्रामीण विकास मंत्री (Rural Development Minister) श्रवण कुमार (Shravan Kumar) ने सोमवार को कहा, बिहार ग्रामीण विकास विभाग द्वारा चलाए गए अभियान के तहत (30 अप्रैल तक) पाया गया कि 3,85,69,626 में से कुल 1,23,13,927 जॉब कार्ड पिछले कई वर्षों से निष्क्रिय थे। उन्होंने कहा कि कुछ मामलों में जॉब कार्ड फर्जी थे या प्रदान किए गए आधार नंबर...

  • मनरेगा मजदूरी का सवाल

    जरूरी यह है कि मनरेगा मजदूरी हो या न्यूनतम मजदूरी, उसे मुद्रास्फीति के इंडेक्स से जोड़ा जाए। तभी शहर से गांवों तक में श्रमिक वर्ग के उपभोग के स्तर को बनाए रखा जा सकेगा, जो आम अर्थव्यवस्था की सेहत के लिए भी जरूरी है। महात्मा गांधी राष्ट्रीय रोजगार गारंटी कानून (मनरेगा) मौजूदा सरकार की कभी प्राथमिकता नहीं रहा। लेकिन ग्रामीण समाज की हकीकत ऐसी है कि सरकार ना तो इसे उगल पाती है या ना निगल पाती है। कोरोना काल में यह आम तजुर्बा रहा कि यह योजना गरीबों के लिए सबसे बड़ा सहारा साबित हुई। उसके बाद इस कानून...

  • झारखंड में मनरेगा श्रमिकों को 1 अप्रैल से 255 रूपए की मजदूरी

    रांची। झारखंड में मनरेगा (महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी अधिनियम) (Mahatma Gandhi National Rural Employment Guarantee Act) श्रमिकों को 1 अप्रैल 2023 से प्रतिदिन 228 रूपए की मजदूरी मिलेगी। केंद्रीय ग्रामीण विकास मंत्रालय (Ministry of Rural Development) द्वारा मनरेगा (MNREGA) के अंतर्गत वित्तीय वर्ष 2023-24 के लिए राज्यवार प्रतिदिन मजदूरी की दर का राजपत्र में प्रकाशन कर दिया गया है। मनरेगा के तहत काम करने वाले अकुशल हस्त कर्मकारों के लिए झारखंड के लिए 228 रूपए प्रतिदिन की मजदूरी तय की गई है। यह नई दर 1 अप्रैल 2023 से प्रभावी होगी। केन्द्रीय ग्रामीण विकास मंत्रालय द्वारा चालू वित्तीय...

  • निलंबित आईएएस पूजा सिंघल को जमानत

    रांची। मनरेगा (MNREGA) की योजनाओं में घोटाले के जरिए अवैध कमाई और मनी लांड्रिंग मामले में जेल में बंद निलंबित आईएएस पूजा सिंघल (IAS Pooja Singhal ) को सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) से बड़ी राहत मिली है। जस्टिस एसके कौल (Justice SK Kaul) एवं जस्टिस अभय ओका (Abhay Oka) की बेंच ने मंगलवार को मेडिकल ग्राउंड पर उन्हें एक महीने की अंतरिम जमानत (interim bail) दे दी। उन्होंने खुद और अपनी पुत्री के स्वास्थ्य कारणों का हवाला देते हुए जमानत की गुहार लगाई थी। लगभग साढ़े सात महीने के बाद वह पहली बार जेल से बाहर आएंगी। गौरतलब है कि...