सरहुल नववर्ष के आरंभ का प्रतीक
झारखण्ड, पश्चिम बंगाल, उड़ीसा, छत्तीसगढ़ और मध्य -पूर्व भारत के जनजातीय क्षेत्रों में निवास करने वाले मुण्डा, भूमिज, हो, संथाल, उराँव आदि जनजातियों के द्वारा मनाया जाने वाला सरहुल पर्व भारत के आदिवासी समुदायों का एक प्रमुख पर्व और महत्वपूर्ण उत्सवों में से एक है। झारखण्ड, छतीसगढ़ आदि प्रदेशों में सरहुल महोत्सव का आयोजन चैत्र मास के शुक्ल पक्ष की तृतीया को किया जाता है। 1 अप्रैल 2025 -सरहुल पर्व जनजातीय समुदाय अर्थात आदिवासी प्रकृति प्रेमी होते हैं। वे प्रकृति के अत्यंत नजदीक, काफी करीब होते हैं। उनकी समस्त गतिविधियां प्रकृति के इर्द-गिर्द ही घूमती है। आदिवासियों के प्रकृति...