रांची। झारखंड मंत्रिमंडल के विस्तार के बाद प्रदेश कांग्रेस में घमासान छिड़ा है। पार्टी के 17 मे से 12 विधायकों ने विरोध का झंडा बुलंद किया है। इनमें से 10 विधायकों के दिल्ली पहुंचने की खबर है। इससे पहले पार्टी के आठ विधायकों ने रांची में एक बैठक की। इस बैठक की जानकारी मिलने के बाद झारखंड सरकार के मंत्री बसंत सोरेन ने जाकर विधायकों से मुलाकात की और उन्हें मनाने का प्रयास किया लेकिन विधायकों ने उनकी बात नहीं सुनी। विधायक दिल्ली में पार्टी आलाकमान से शिकायत करने आए हैं और अगर सुनवाई नहीं होती है तो वे जयपुर जाकर अपनी रणनीति बनाएंगे।
गौरतलब है कि हेमंत सोरेन के जेल जाने के बाद चम्पई सोरेन मुख्यमंत्री बने हैं और उनकी कैबिनेट का विस्तार 16 फरवरी को हुआ। उसमें हेमंत सोरेन सरकार में शामिल कांग्रेस के सभी मंत्रियों को फिर से शपथ दिला दी गई। विधायक इससे नाराज हैं। नाराज विधायकों ने दो दिन में तीन बार बैठक की। कांग्रेस के 10 विधायक दिल्ली जाने के लिए शनिवार की देर शाम एयरपोर्ट पहुंचे। इससे पहले आठ विधायकों ने शनिवार शाम को बिरसा चौक स्थित रासो होटल में साढ़े तीन घंटे तक बैठक की।
हेमंत सोरेन के भाई और चम्पई सरकार के मंत्री बसंत सोरेन इन विधायकों से मिलने पहुंचे, लेकिन बात नहीं बनी। हालांकि बसंत सोरेन ने कहा- परिवार में कुछ शंका थी, उसे दूर करने का प्रयास किया गया है। कांग्रेस के नाराज विधायकों में राजेश कच्छप, जयमंगल सिंह उर्फ अनूप सिंह, डॉ. इरफान अंसारी, उमाशंकर अकेला, सोना राम सिंकू, भूषण बारा, नमन विक्सल कोंगड़ी, रामचंद्र सिंह, शिल्पी नेहा तिर्की, अंबा प्रसाद, दीपिका सिंह पांडेय, पूर्णिमा नीरज सिंह शामिल हैं। इनमें से दो विधायक दिल्ली नहीं जा रहे हैं। इस बीच सिमडेगा से कांग्रेस विधायक भूषण बारा ने खेला होने की बात कही है।