nayaindia Chandrababu Naidu Will Talk To BJP For Tripartite Alliance त्रिपक्षीय गठबंधन के लिए बीजेपी से बातचीत करेंगे चंद्रबाबू नायडू

त्रिपक्षीय गठबंधन के लिए बीजेपी से बातचीत करेंगे चंद्रबाबू नायडू

Chandrababu Naidu :- आंध्र प्रदेश में आगामी विधानसभा और लोकसभा चुनावों को लेकर टीडीपी अध्यक्ष एन. चंद्रबाबू नायडू त्रिपक्षीय चुनावी गठबंधन के लिए आज (बुधवार) भाजपा के शीर्ष नेताओं के साथ बातचीत करेंगे। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और अन्य नेताओं के साथ बातचीत से सत्तारूढ़ वाईएसआर कांग्रेस पार्टी से मुकाबला करने के लिए टीडीपी-जन सेना-भाजपा गठबंधन पर कुछ स्पष्टता मिलने की संभावना है। पूर्व मुख्यमंत्री विशेष उड़ान से शाम पांच बजे के आसपास राष्ट्रीय राजधानी पहुंचेंगे। तेलुगू देशम पार्टी (टीडीपी) और अभिनेता-राजनेता पवन कल्याण की जन सेना पहले ही चुनावी गठबंधन की घोषणा कर चुकी हैं। दोनों पार्टियां लंबे समय से जगन मोहन रेड्डी के नेतृत्व वाली वाईएसआरसीपी को हराने के लिए भगवा पार्टी से हाथ मिलाने की कोशिश कर रही है। सीट बंटवारे को लेकर नायडू और पवन कल्याण के बीच पहले ही कई दौर की बातचीत हो चुकी है और बताया जा रहा है कि दोनों के बीच व्यापक सहमति बन गई है। 2018 में भाजपा से नाता तोड़ने और 2019 के चुनावों में करारी हार झेलने के बाद गठबंधन को पुनर्जीवित करने में टीडीपी ने रुचि दिखाई है।

हालांकि, भाजपा नायडू के प्रस्तावों के प्रति उदासीन रही थी। वाईएसआरसीपी ने केंद्र में मोदी सरकार के साथ मैत्रीपूर्ण संबंध बनाए रखे और कई प्रमुख विधेयकों को पारित करने में संसद में उसका समर्थन किया। आमचुनाव में कुछ ही महीने बचे हैं, ऐसे में बीजेपी नेतृत्व पर गठबंधन पर फैसला लेने का दबाव बढ़ रहा है। राज्य के अधिकांश भाजपा नेता टीडीपी-जनसेना के साथ गठबंधन के पक्ष में हैं। भाजपा की प्रदेश अध्यक्ष डी. पुरंदेश्वरी ने हाल ही में गठबंधन पर पार्टी की राज्य कार्यकारिणी के सदस्यों से प्राप्त फीडबैक पर पार्टी के केंद्रीय नेतृत्व को एक रिपोर्ट सौंपी थी। चंद्रबाबू नायडू ने पिछले साल जून में अमित शाह और बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जे.पी.नड्डा से मुलाकात की थी। इस मुलाकात से दोनों दलों के गठबंधन को पुनर्जीवित करने की अटकलें तेज हो गई थीं। 2018 में टीडीपी के भाजपा के नेतृत्व वाले राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) से बाहर निकलने के बाद अमित शाह के साथ नायडू की यह पहली बैठक थी। पवन कल्याण ने 2014 में टीडीपी-भाजपा गठबंधन के लिए प्रचार किया था क्योंकि जन सेना ने उस समय चुनाव नहीं लड़ा था। टीडीपी ने भाजपा के साथ गठबंधन कर आंध्र प्रदेश में पहली सरकार बनाई थी।

हालांकि, नायडू ने आंध्र प्रदेश को विशेष श्रेणी का दर्जा देने में देरी के विरोध में 2018 में एनडीए से नाता तोड़ लिया था। बाद में नायडू ने तेलंगाना में विधानसभा चुनाव लड़ने के लिए कांग्रेस पार्टी से हाथ मिला लिया। हालांकि, गठबंधन को धूल चाटनी पड़ी। टीडीपी को 2019 में आंध्र प्रदेश विधानसभा और लोकसभा के एक साथ चुनावों में भी हार का सामना करना पड़ा। वाईएसआरसीपी ने 175 सदस्यीय विधानसभा में 151 सीटें जीतकर चुनाव में जीत हासिल की। टीडीपी राज्य की 25 लोकसभा सीटों में से केवल 23 विधानसभा और तीन सीटें ही जीत सकी। 2014 के चुनावों के बाद खुद को बीजेपी और टीडीपी दोनों से दूर रखने वाली जन सेना ने पिछला चुनाव बसपा और वाम दलों के साथ गठबंधन में लड़ा था। हालांकि वह केवल एक विधानसभा सीट ही जीत सकी और लोकसभा चुनाव में उसे एक भी सीट नहीं मिली। 2019 चुनाव के बाद पवन कल्याण ने फिर से बीजेपी से हाथ मिला लिया। वह पिछले कई महीनों से तीन पार्टियों का महागठबंधन बनाने की कोशिश कर रहे हैं। बीजेपी के अनिच्छुक रहने पर उन्होंने पिछले साल सितंबर में टीडीपी के साथ गठबंधन की घोषणा की थी। (आईएएनएस)

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