नई दिल्ली। अरब सागर से गुजर रहे बिपरजॉय तूफान का खतरा बढ़ गया है। यह तूफान अब एक भीषण चक्रवात में बदल गया है। मौसम विभाग की ओर से रविवार की सुबह जारी अपडेट के मुताबिक यह तूफान गुजरात के पोरबंदर 460 किलोमीटर, द्वारका से 510 किलोमीटर और कच्छ के नालिया से छह सौ किलोमीटर दूर है। बताया गया है कि यह पिछले आठ घंटे में आठ किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से आगे बढ़ा है। इसके 15 जून तक गुजरात के मांडवी और पाकिस्तान के कराची के बीच तट पर पहुंचने का अनुमान है।
बताया गया है कि जब यह चक्रवाती तूफान गुजरात और कराची पहुंचेगा उस समय 125 से 135 किलोमीटर की रफ्तार से हवाएं चलेंगी। इसकी रफ्तार डेढ़ सौ किलोमीटर प्रति घंटे तक जा सकती हैं। तूफान से पैदा होने वाले किसी तरह के खतरे से निपटने के लिए पोरबंदर, गिर-सोमनाथ और वलसाड में एनडीआरएफ की तैनाती की गई है। उधर कराची पोर्ट ने रेड अलर्ट जारी किया है।
तूफान के चलते गुजरात में अगले पांच दिन तक आंधी चलेगी। सबसे ज्यादा असर सौराष्ट्र-कच्छ इलाके में होगा। इस दौरान यहां 30 से 40 किलोमीटर की रफ्तार से हवाएं चलेंगीं, खासतौर से 13 से 15 जून तक। इस बीच खबर है कि दक्षिण-पश्चिमी मॉनसून शनिवार को केरल के बचे हुए हिस्सों से आगे तटीय कर्नाटक में छा गया है। केरल में मॉनसून ने सात दिन की देरी से दस्तक दी थी।
मौमस विभाग का अनुमान है कि अगले 48 घंटे के अंदर मॉनसून पूरे गोवा, महाराष्ट्र के कुछ हिस्से खासकर तटीय महाराष्ट्र में आगे बढ़ने के आसार हैं। केरल के तिरुवनंतपुरम, कोल्लम, पत्थनमथिट्टा, अलापुझा, कोट्टायम, इदुक्की, कोझिकोड और कन्नूर में यलो अलर्ट जारी किया गया है। बिहार, झारखंड, पश्चिम बंगाल, ओडिशा, पूर्वी उत्तर प्रदेश, तटीय आंध्र व तेलंगाना में दो से तीन दिन तक लू के हालात रहेंगे। इसके अलावा तीन से चार दिन में आंध्र, तेलंगाना, ओडिशा, छत्तीसगढ़ में मॉनसून के दस्तक देने की संभावना नहीं है।