nayaindia congress target PM Modi मोदी को हर बात पर झूठ की छूट

मोदी को हर बात पर झूठ की छूट

abhishek manu singhvi
abhishek manu singhvi

नई दिल्ली। कांग्रेस ने भाजपा के खिलाफ चुनाव आयोग में 17 शिकायतें की हैं। कांग्रेस महासचिव केसी वेणुगोपाल ने कहाकि प्रधानमंत्री ने जो कहा, वह हमारे मैनिफेस्टो में नहीं है। वे वोटों के लिए सांप्रदायिक ध्रुवीकरण की कोशिश कर रहे हैं। क्या चुनाव आयोग ने उन्हें हर बात पर झूठ बोलने की अनुमति दी है। उन्होने कहां मैनिफेस्टो की प्रतियां हमारे पार्टी नेताओं और लोकसभा उम्मीदवारों की तरफ से प्रधानमंत्री को भेजी जाएंगी। कांग्रेस ने ये भी कहा कि पार्टी चुनाव आयोग में एक लाख लोगों के दस्तखत कराकर एक याचिका भी दायर करेगी।

कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे अपनी पार्टी का घोषणापत्र प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को समझाना चाहते हैं। इसके लिए उन्होंने सोमवार को पीएम मोदी से मिलने का समय मांगा। उन्होंने कहा- पीएम हमारे मैनिफेस्टो को सही से समझ नहीं पाए हैं। उनसे मिलकर उन्हें मैनिफेस्टो समझाना है। गौरतलब है कि असमानता दूर करने के लिए संपत्ति के पुनर्वितरण के कांग्रेस के वादे पर प्रधानमंत्री मोदी ने कहा है कि कांग्रेस लोगों की संपत्ति छीन कर दूसरों में बांटने की बात कर रही है।

यह भी पढ़ें: दल-बदल विरोधी कानून खत्म हो!

कांग्रेस ने प्रधानमंत्री की इस टिप्पणी की शिकायत चुनाव आयोग से भी की है। जब चुनाव आयोग हर बात पर हस्तक्षेप करता है तो इस मुद्दे पर खामोश क्यों है? आयोग को स्वतंत्र और निष्पक्ष चुनाव सुनिश्चित करना चाहिए। कांग्रेस नेता अभिषेक सिंघवी ने कहा- हमारे प्रतिनिधिमंडल ने चुनाव आयोग से मुलाकात की। हमने 17 शिकायत की हैं। सभी बहुत गंभीर हैं और स्वतंत्र भारत के मूल सिद्धांत का उल्लंघन करती हैं। इसलिए ये जरूरी है कि जिसे हमने इस अधिकार क्षेत्र का संरक्षक बनाया है, वह तुरंत ठोस और सही एक्शन ले।

यह भी पढ़ें: यह चुनावी धांधली नहीं तो क्या?

सिंघवी ने कहा- प्रधानमंत्री ने यह बयान राजस्थान में प्रचार के दौरान दिया। हमने चुनाव आयोग के सामने पूरा बयान रखा है। पीएम के बयान में एक समुदाय का स्पष्ट नाम के साथ विवरण है। ये स्पष्ट कहा गया है कि वह समुदाय इस देश की अल्प रिसोर्सेस को हड़प लेगा। कांग्रेस उन्हें ये रिसोर्सेस दे देगी। उस समुदाय को घुसपैठियों के साथ जोड़ा गया है। हिंदू धर्म के कई प्रतीकों पर आघात हो सकता है।

यह भी पढ़ें: प्रकाश अम्बेडकर है तो भाजपा क्यों न जीते!

अभिषेक सिंघवी ने कहा- मैं कहना चाहता हूं कि नियम 123 के तहत प्रधानमंत्री ने उल्लंघन किया है। इस नियम के तहत चुनाव के दौरान धार्मिक आधार पर बयान नहीं दिया जा सकता। ये चुनाव आयोग के सरकुलर का भी उल्लंघन है। इसमें कहा गया है कि आप सीधे या परोक्ष रूप से धर्म के आधार पर आरोप नहीं लगा सकते। सिंघवी ने आगे कहा- प्रधानमंत्री ने संविधान की अस्मिता पर भी आघात किया है। इसमें चुनाव आयोग, संविधान और प्रधानमंत्री पद की साख का सवाल है।

Leave a comment

Your email address will not be published. Required fields are marked *

और पढ़ें