सोशल मीडिया में किसी ने लिखा कि महज 38 सेकेंड के भीतर एयर इंडिया का विमान दुर्घटनाग्रस्त हो गया, जिसमें 270 लोगों की जान गई है और लगभग इतनी ही देर फोन मिलाने पर लोगों को अमिताभ बच्चन की आवाज में साइबर फ्रॉड से बचने का मैसेज सुनना पड़ता है। हजारों लोगों की इस पर प्रतिक्रिया थी, जिसमें कॉमन बात यह थी कि सब इससे परेशान हैं। कोई इमरजेंसी में फोन मिलाए तो पहले उसे साइबर फ्रॉड से बचने का मैसेज सुनना होता है। इससे लोगों की परेशानी किस स्तर की है, इसका अंदाजा इस बात से लगता है कि एक वरिष्ठ पत्रकार और सोशल मीडिया इन्फ्लूएंसर ने सूचना के अधिकार के तहत जानकारी मांगी है कि कब तक ऐसा चलता रहेगा। उन्होंने जानना चाहा है कि अमिताभ बच्चन के साथ कब तक के लिए इसका करार हुआ है और क्या इसके लिए उन्हें पैसे भी दिए गए हैं?
बहरहाल, सरकार साइबर फ्रॉड से लोगों को आगाह करने के कई उपाय कर रही है। टेलीविजन और रेडियो पर लगातार विज्ञापन आते हैं और अखबारों में भी विज्ञापन छपते हैं। इसके बावजूद हर दिन साइबर फ्रॉड की खबरें आ रही हैं। डिजिटल अरेस्ट करके ठगी की खबरें आ रही हैं। लेकिन उससे लोगों को बचाने का उपाय यह नहीं है कि फोन लगाने पर पहले उसके आधे मिनट का मैसेज सुनाया जाए। सरकार इन्फोर्समेंट एजेंसीज को ठीक करे, टेलीफोन सेवा प्रदाता कंपनियों को अलर्ट पर रखे, जो वे स्पैम और इस तरह की ठगी रोकने के उपाय करें और बैंकिंग सिस्टम को भी अलर्ट पर रखे। अभी जो उपाय किए जा रहे हैं वे दिखावे वाले हैं और उनका कोई खास लाभ लोगों को नहीं मिल रहा है। टेलीफोन पर आधे मिनट का मैसेज सुनाना तो बहुत ही खराब आइडिया है, जिसे तत्काल बंद कर देना चाहिए।