नई दिल्ली। कांग्रेस ने मुख्य निर्वाचन आयुक्त (सीईसी) और निर्वाचन आयुक्तों की नियुक्ति की प्रक्रिया के संदर्भ में उच्चतम न्यायालय की संविधान पीठ के फैसले का स्वागत करते हुए बृहस्पतिवार को कहा कि प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) जैसी संस्था के प्रमुख की नियुक्ति को लेकर भी इसी प्रक्रिया का पालन किया जाना चाहिए।
पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री तृणमूल कांग्रेस प्रमुख ममता बनर्जी ट्वीट किया, उच्चतम न्यायालय का ऐतिहासिक आदेश एक लोकतांत्रिक जीत है। हम चुनाव आयुक्तों और मुख्य चुनाव आयुक्त की नियुक्ति पर संविधान पीठ के फैसले का स्वागत करते हैं। दमनकारी ताकतों के दुर्भाग्यपूर्ण प्रयासों पर लोगों की इच्छा भारी पड़ती है।
पार्टी प्रवक्ता और वरिष्ठ अधिवक्ता अभिषेक सिंघवी ने यह भी कहा कि अब इस फैसले के बाद निर्वाचन आयोग में बैठे लोगों को इस प्रक्रिया से गुजरकर इस संस्था में आना चाहिए। उच्चतम न्यायालय की संविधान पीठ ने बृहस्पतिवार को फैसला दिया कि मुख्य निर्वाचन आयुक्त (सीईसी) और निर्वाचन आयुक्तों की नियुक्ति राष्ट्रपति द्वारा एक समिति की सलाह पर की जाएगी, जिसमें प्रधानमंत्री, लोकसभा में विपक्ष के नेता और भारत के मुख्य न्यायाधीश शामिल होंगे।
न्यायमूर्ति के एम जोसेफ की अध्यक्षता वाली पांच न्यायाधीशों की संविधान पीठ ने सर्वसम्मति से अपने फैसले में कहा कि यह नियम तब तक कायम रहेगा जब तक कि संसद इस मुद्दे पर कानून नहीं बना देती। सिंघवी ने संवाददाताओं से कहा, सरकार के पुरजोर विरोध के बाद यह निर्णय आया है। हम इसका स्वागत करते हैं। यह निर्णय व्यापक असर रखने वाला है। सरकार को इस निर्णय पर पूर्णत: अमल करना चाहिए। उन्होंने कहा कि ईडी के निदेशक की नियुक्ति को लेकर भी यही प्रक्रिया अपनानी चाहिए। कांग्रेस नेता ने आरोप लगाया, आज ईडी सरकार का भाई और गठबंधन का हिस्सा बन गया है।(भाषा)