Supreme Court

  • कफ सिरप मामले की जांच से जुड़ी पीआईएल पर सुप्रीम कोर्ट करेगा सुनवाई

    कफ सिरप पीने से बच्चों की हुई मौत के मामले में सुप्रीम कोर्ट अदालत की निगरानी में जांच की मांग वाली एक जनहित याचिका पर सुनवाई के लिए सहमत हो गया है। याचिका में इस गंभीर मामले की जांच राष्ट्रीय न्यायिक आयोग या सीबीआई के माध्यम से विशेषज्ञों की समिति बनाकर कराए जाने की मांग की गई है।  मामले की गंभीरता को देखते हुए चीफ जस्टिस बीआर गवई, जस्टिस उज्ज्वल भुयान और जस्टिस के. विनोद चंद्रन की बेंच ने सुनवाई 10 अक्टूबर के लिए निर्धारित की। वकील विशाल तिवारी की तरफ से दाखिल जनहित याचिका में सुप्रीम कोर्ट से अपील...

  • यूएन के शरणार्थी कार्ड देने पर सुप्रीम कोर्ट नाराज

    नई दिल्ली। सर्वोच्च अदालत ने संयुक्त राष्ट्र संघ की ओर से शरणार्थी कार्ड बांटे जाने पर नाराजगी जताई है। गौरतलब है कि संयुक्त राष्ट्र उच्चायुक्त, यूएनएचसीआर की ओर से भारत में प्रवासियों को शरणार्थी कार्ड बांटे जाते हैं। सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार को एक मामले की सुनवाई में इस पर आपत्ति जताई। जस्टिस​​​​ सूर्यकांत ने कहा, ‘यूएनएचसीआर ने यहां एक शोरूम खोल रखा है और सर्टिफिकेट बांट रहा है’।  असल में सुप्रीम कोर्ट 2013 से भारत में रह रहे एक सूडानी व्यक्ति की हिरासत से बचने के लिए अंतरिम संरक्षण की याचिका पर सुनवाई कर रहा था। सूडानी व्यक्ति का...

  • आखिर तक पर्दादारी!

    सवाल नहीं उठते, अगर निर्वाचन आयोग ने सुप्रीम कोर्ट के पूर्व आदेश की भावना के अनुरूप जारी मतदाता सूची में नाम जोड़ने या काटने की वजह भी बता दी होती। मगर आयोग ने यह नहीं किया, तो बात फिर अदालत पहुंची। बिहार में मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) के क्रम में निर्वाचन आयोग ने ऐसी हर कोशिश की है, जिससे लोग उसके इरादे पर शक करें! उसने हर कदम पर पारदर्शिता से परहेज किया। उनमें से कई कोशिशें नाकाम हुईं, तो उसका पूरा श्रेय सर्वोच्च न्यायालय और जागरूक नागरिकों को दिया जाएगा। पहले की सुनवाइयों में सुप्रीम कोर्ट...

  • शिवसेना चुनाव चिन्ह विवाद : उद्धव ठाकरे की याचिका पर 12 नवंबर को सुनवाई करेगा सुप्रीम कोर्ट

    शिवसेना पार्टी के चुनाव चिन्ह विवाद मामले में सुप्रीम कोर्ट अगले महीने सुनवाई करेगा। उद्धव ठाकरे की ओर से दायर याचिका पर बुधवार को सुप्रीम कोर्ट ने सुनवाई के लिए 12 नवंबर की तारीख निर्धारित की।  शिवसेना-यूबीटी प्रमुख उद्धव ठाकरे ने भारतीय चुनाव आयोग (ईसीआई) के फैसले को चुनौती दी है, जिसमें एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाले धड़े को पार्टी का नाम 'शिवसेना' और उसका चुनाव चिन्ह 'धनुष-बाण' आवंटित किया गया था। उद्धव ठाकरे का प्रतिनिधित्व कर रहे वरिष्ठ अधिवक्ता कपिल सिब्बल ने दलील दी कि महाराष्ट्र में स्थानीय निकाय चुनाव जनवरी 2026 में होने हैं, इसलिए इस मामले पर...

  • विधि सत्ता पर हमला

    वकील राकेश किशोर के प्रकरण से जो भय निर्मित होगा, उसका न्यायिक कार्रवाइयों पर संभावित असर का अंदाजा लगाया जा सकता है। मुद्दा है कि सुप्रीम कोर्ट ने अपनी और कानून की मर्यादा की रक्षा में अगंभीर रुख क्यों अपनाया है?  न्यायालय की अवमानना की सबसे उदार व्याख्या यह है कि कोई व्यक्ति किसी न्यायिक निर्णय या प्रक्रिया की जुबानी आलोचना करता हो- यहां तक जजों की मंशा पर भी शक जता रहा हो- तो लोकतंत्र में कोर्ट को उसे बदार्श्त करना चाहिए। अदालत को दंडात्मक कार्रवाई तभी करनी चाहिए, जब कोई व्यक्ति भौतिक रूप से न्याय प्रक्रिया में बाधा...

  • काटे, जोड़े गए नाम बताए आयोग

    नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट ने बिहार विधानसभा चुनाव की घोषणा के एक दिन बाद मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण यानी एसआईआर को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर सुनवाई की। अदालत ने चुनाव आयोग से कहा कि बहुत कंफ्यूजन है। अब तीन मतदाता सूची उपलब्ध है, जिसमें एक 2022 के संक्षिप्त पुनरीक्षण वाली सूची है, दूसरी एसआईआर के बाद जारी मसौदा सूची है और तीसरी अंतिम मतदाता सूची है। इन तीनों में मतदाताओं की संख्या अलग अलग है। इसके बाद सुप्रीम कोर्ट ने चुनाव आयोग से कहा कि उसने मसौदा सूची के बाद जिन लोगों के नाम हटाए हैं और...

  • कफ सिरप का मामला सुप्रीम कोर्ट पहुंचा

    नई दिल्ली। मध्य प्रदेश और राजस्थान में कफ सिरप पीने से हुई मौतों का मामला सुप्रीम कोर्ट में पहुंच गया है। एडवोकेट विशाल तिवारी ने एक जनहित याचिका दायर कर इस मामले की न्यायिक जांच कराने की मांग की है। गौरतलब है कि मध्य प्रदेश और राजस्थान में जहरीला कफ सिरप पीने से अब तक 23 बच्चों की मौत हो चुकी है। इनमें मध्य प्रदेश में दो सितंबर से अभी तक 19 बच्चों की और राजस्थान में चार बच्चों की मौत हुई है। इसके बाद मध्य प्रदेश, राजस्थान, केरल, तमिलनाडु और पंजाब ने इस सिरप की बिक्री और इस्तेमाल पर...

  • चीफ जस्टिस पर हमले की कोशिश

    नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट के चीफ जस्टिस बीआर गवई पर अदालत में सुनवाई के दौरान एक वकील ने हमले का प्रयास किया। सोमवार को चीफ जस्टिस गवई की बेंच एक मामले की सुनवाई कर रही थी। उस समय अदालत में मौजूद वकीलों के हवाले से न्यूज एजेंसी पीटीआई ने बताया है कि एक वकील ने चीफ जस्टिस की तरफ जूता फेंका। हालांकि जूता उनकी बेंच तक नहीं पहुंच सका। सुरक्षाकर्मियों ने तुरंत उस वकील को पकड़ लिया। बाद में उस वकील का लाइसेंस रद्द कर दिया गया। सुरक्षाकर्मी जिस समय उसे बाहर ले जा रहे थे उस समय वकील ने...

  • दिल्ली-एनसीआर में पटाखों पर पूर्ण प्रतिबंध में हीलाहवाली पर सुप्रीम कोर्ट सख्त

    सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली-एनसीआर में पटाखों पर पूर्ण प्रतिबंध के अपने आदेश को प्रभावी ढंग से लागू न करने पर नाराजगी जताई। कोर्ट ने केंद्र सरकार को निर्देश दिया है कि सभी हितधारकों के साथ मिलकर प्रतिबंध लागू करने की एक ठोस नीति तैयार की जाए।  चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया (सीजेआई) बीआर गवई की अगुवाई वाली बेंच ने सुनवाई के दौरान बिहार के खनन प्रतिबंध का उदाहरण देते हुए चेतावनी दी। बेंच ने कहा, "बिहार में खनन पर प्रतिबंध लगाया गया था, लेकिन इससे अवैध खनन माफिया पैदा हो गए। इसलिए एक संतुलित दृष्टिकोण अपनाना जरूरी है। सर्वोच्च अदालत ने...

  • आद्या शक्ति नहीं, भीरूता माता

     वही गाँधी स्वतंत्र भारत के 'राष्ट्रपिता' हैं तो न्यायपालिका, कार्यपालिका और विधायिका के भी पिता हैं। अतः हिन्दुओं को जब चाहे, बात-बेबात फटकारना, और मुस्लिमों का हर हाल में बचाव करना भारतीय शासक वर्ग का एक प्रकार का सिग्नेचर ट्यून रहा है।... बाल ठाकरे जैसे अपवादों को छोड़, सभी नेता जिहाद और उस के प्रेरक मतवाद पर चुप रहते हैं। बल्कि उस के प्रति श्रद्धा दिखाते, खुद भी बड़े-बड़े इस्लामियों पर चादर चढ़ाते हैं। तदनुरूप सुप्रीम कोर्ट ने भी गुजरात में मुस्लिम पीड़ितों के लिए जो उत्साह दिखाया, उस का ठीक उल्टा कश्मीरी पंडितों के लिए था। श्रीलाल शुक्ल के...

  • अब तो बहस छिड़े

    लोकतंत्र में विचार जताने की आजादी पर कोई तलवार नहीं लटकनी चाहिए। अधिक से अधिक यह हो सकता है कि मानहानि दीवानी श्रेणी का अपराध रहे, हालांकि इसके तहत भी प्रतीकात्मक दंड का प्रावधान ही होना चाहिए। सुप्रीम कोर्ट के यह टिप्पणी स्वागतयोग्य है कि मानहानि को अपराध की श्रेणी से हटाने का समय आ गया है। जस्टिस एम.एम. सुंदरेश और जस्टिस सतीश चंद्र शर्मा की पीठ ने ये बात कही। जेएनयू की एक पूर्व प्रोफेसर द्वारा एक वेबसाइट के खिलाफ दायर आपराधिक मानहानि मामले की सुनवाई के दौरान उन्होंने ये टिप्पणी की। बचाव पक्ष ने इस दौरान जिन मामलों...

  • अपराध श्रेणी से बाहर हो मानहानि

    नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट ने मानहानि को अपराध बनाने वाले कानून को लेकर बड़ी टिप्पणी की है। सर्वोच्च अदालत ने कहा है कि अब समय आ गया है कि मानहानि को अपराध की श्रेणी से बाहर किया जाए। जस्टिस एमएम सुंदरेश और जस्टिस सतीश चंद्र शर्मा की बेंच ने सोमवार को पूर्व जेएनयू प्रोफेसर अमिता सिंह की ओर से 2016 में एक मीडिया संस्थान के खिलाफ दाखिल मानहानि मामले की सुनवाई करते हुए यह टिप्पणी की। मीडिया संस्थान ने अपनी रिपोर्ट में दावा किया था कि प्रोफेसर अमिता सिंह ने एक डॉजियर तैयार किया था, जिसमें जवाहर लाल नेहरू यूनिवर्सिटी,...

  • हादसे के बाद पायलट पर टिप्पणी अफसोसजनक

    नई दिल्ली। अहमदाबाद विमान हादसे के बाद उस विमान के पायलट की कथित गलती को लेकर चल रही चर्चाओं को सुप्रीम कोर्ट ने अफसोसजनक बताया है। विमान की कॉकपिट रिकॉर्डिंग सामने आने के बाद पायलट की मानसिक स्थिति को लेकर कई तरह की चर्चाएं होने लगी थीं। इस पर दिवंगत पायलट के पिता ने भी आपत्ति जताई थी। सोमवार को इस पर सुनवाई हुई, जिसमें सर्वोच्च अदालत ने पायलट को लेकर हो रही चर्चाओं को अफसोसजनक बताया। इसके बाद सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र सरकार, नागरिक विमानन महानिदेशालय यानी डीजीसीए और विमान दुर्घटना जांच ब्यूरो, एएआईबी से जवाब मांगा है। जस्टिस...

  • वक्फ कानून के तीन बदलावों पर रोक

    नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट ने वक्फ संशोधन कानून को लेकर दायर याचिकाओं पर बड़ा फैसला सुनाया है। सर्वोच्च अदालत ने इस कानून पर रोक नहीं लगाई है, जैसा कि याचिकाओं में मांग की गई थी लेकिन इसके तीन अहम बदलावों को रोक दिया है। अदालत ने कहा है कि इस मामले में अंतिम फैसला आने तक इन बदलावों पर रोक रहेगी। इसमें गैर मुस्लिम सदस्यों की नियुक्ति का प्रावधान भी है। गौरतलब है कि सर्वोच्च अदालत ने 20 से 22 मई तक इस पर लगातार सुनवाई की थी और फैसला सुरक्षित रख लिया था। सोमवार, 15 सितंबर को फैसले का...

  • बिहार के एसआईआर का फैसला देश पर लागू होगा

    नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट ने मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण यानी एसआईआर को लेकर दायर याचिकाओं पर सोमवार को सुनवाई की और कहा कि बिहार में हुए एसआईआर को लेकर उसका जो भी फैसला होगा वह पूरे देश में होने वाले एसआईआर पर लागू होगा। गौरतलब है कि चुनाव आय़ोग ने सुप्रीम कोर्ट में हलफनामा देकर कहा था कि एसआईआर पर अदालत उसे निर्देश न दे। बहरहाल, सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को यह भी कहा कि अगर बिहार के एसआईआर में गड़बड़ी मिली तो वह पूरी प्रक्रिया को रद्द कर देगा। अदालत ने भरोसा दिलाया कि यह काम उसकी...

  • वक्फ (संशोधन) अधिनियम 2025 के कुछ प्रावधानों पर सुप्रीम की रोक

    सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को वक्फ (संशोधन) अधिनियम, 2025 के कुछ प्रावधानों पर रोक लगाई है। सर्वोच्च न्यायालय के फैसले पर कांग्रेस महासचिव जयराम रमेश ने कहा कि यह उन सभी सदस्यों की जीत है, जिन्होंने संयुक्त संसदीय समिति (जेपीसी) में विस्तृत असहमति नोट दर्ज कराए थे। जयराम रमेश ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर एक पोस्ट में लिखा, "वक्फ (संशोधन) अधिनियम 2025 पर आज सुप्रीम कोर्ट का आदेश न केवल उन दलों के लिए एक बड़ी जीत है जिन्होंने संसद में इस मनमाने कानून का विरोध किया था, बल्कि संयुक्त संसदीय समिति के उन सभी सदस्यों के लिए भी...

  • हिमाचल में अनियंत्रित विकास पर सुप्रीम कोर्ट सख्त

    सुप्रीम कोर्ट ने हिमाचल प्रदेश में अनियंत्रित विकास से पर्यावरण को हो रहे नुकसान के मामले में स्वत: संज्ञान लिया है। जस्टिस विक्रम नाथ की अध्यक्षता वाली बेंच ने सोमवार को मामले में सुनवाई की। अदालत ने फिलहाल अपना फैसला सुरक्षित रख लिया है। मामले में 23 सितंबर को आदेश पारित किया जाएगा।  कोर्ट ने कहा कि इस मामले की सुनवाई के समय हिमाचल में एक और भयावह पर्यावरणीय घटना हुई, जो चिंता का विषय है। कोर्ट की ओर से नियुक्त एमिकस क्यूरी ने सुझाव दिया कि इस मामले का दायरा बहुत व्यापक है, इसलिए एक समिति गठित की जा...

  • सुप्रीम कोर्ट का नेपाल के हवाले चेताना!

    प्रधानमंत्री मोदी, शाह, डोवाल को तुषार मेहता को बुलाकर समझना चाहिए कि बुधवार के दिन सुप्रीम कोर्ट के चीफ जस्टिस के बोलने का क्या अर्थ था? वह हमें नसीहत थी या विपक्ष याकि राहुल गांधी को? आखिर मोदी-शाह तो यह मानने से रहे कि दिल्ली कभी काठमांडू बनेगा! उन्होंने तो दिल्ली को किला बनाया हुआ है। किसानों को दिल्ली में पांव नहीं रखने दिए। वे दिल्ली को भी अंबानी-अडानी की बिल्डिंगों जैसी चमचमाती विकसित राजधानी बना दे रहे हैं। इतना ही नहीं अंबानी-अडानी सहित दरबारी जगत सेठों को देश की जीडीपी का पचास-साठ प्रतिशत मालिक बना कर हिंदुओं में स्थायी...

  • राष्ट्रपति और राज्यपालों के मामले में फैसला सुरक्षित

    नई दिल्ली। संवैधानिक विवाद का कारण बने सुप्रीम कोर्ट के दो जजों के फैसले पर 10 दिन की सुनवाई के बाद संविधान बेंच ने फैसले सुरक्षित रख लिया है। इस साल अप्रैल में दो जजों की बेंच ने विधानसभा से पास विधेयकों को मंजूरी देने की डेडलाइन तय कर दी थी। अदालत ने कहा था राज्यपालों और राष्ट्रपति को विधानसभा से पास विधेयकों पर तीन महीने के भीतर फैसला करना होगा। इस पर राष्ट्रपति ने अनुच्छेद 143 के तरह रेफरेंस भेजा है। इस फैसले को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर चीफ जस्टिस बीआर गवई की  अध्यक्षता वाली पांच जजों की...

  • ऑनलाइन गेमिंग के सारे मामले सुप्रीम कोर्ट में सुने जाएंगे

    नई दिल्ली। ऑनलाइन गेमिंग पर पाबंदी लगाने वाले केंद्रीय कानून के खिलाफ देश भर की अलग अलग अदालतों में दायर मामलों की सुनवाई अब सुप्रीम कोर्ट में होगी। संसद के मानसून सत्र में पास किए गए इस कानून को देश की कई अदालतों में चुनौती दी गई है। अलग अलग हाईकोर्ट्स में दायर की गई सभी याचिकाओं की सुनवाई अब सुप्रीम कोर्ट में ही होगी। केंद्र सरकार की मांग पर सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार, आठ सितंबर की सुनवाई में यह आदेश दिया। गौरतलब है कि, केंद्र सरकार ने ऑनलाइन गेमिंग को लेकर बनाए गए प्रमोशन एंड रेगुलेशन ऑफ ऑनलाइन गेमिंग...

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