रामपुर। समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव की आखिरकार आजम खान से मुलाकात हुई। 23 महीने बाद जेल में रिहा हुए आजम खान से मिलने जाने में अखिलेश को 15 दिन लग गए। 15 दिन बाद रामपुर में आजम खान के घर दोनों की मुलाकात हुई और मुलाकात आजम खान की शर्तों पर हुई। उन्होंने कहा था कि अखिलेश उनसे अकेले मिलेंगे। वे किसी के साथ नहीं मिलना चाहते थे। उन्होंने रामपुर के सपा सांसद मोहिबुल्ला नदवी से मिलने से साफ इनकार कर दिया था। अखिलेश यादव ने उनकी बात का मान रखा और अकेले मिलने पहुंचे।
दोनों नेताओं के बीच बंद कमरे में दो घंटे तक बातचीत चली। इस दौरान आजम खान की पत्नी और बेटे भी मौजूद नहीं थे। बाहर निकलने पर अखिलेश ने कहा, ‘आजम साहब बहुत पुराने नेता हैं। उनका गहरा साया हमेशा हमारे साथ रहा है। आजम खान हमारी पार्टी का दरख्त हैं’। अखिलेश ने राज्य की भाजपा सरकार पर निशाना साधते हुए कहा, ‘आजम परिवार पर भाजपा केस करके वर्ल्ड रिकॉर्ड बनाना चाहती है। यह बड़ी लड़ाई है और उसमें हम सब मिलकर लड़ेंगे’।
इससे पहले, रामपुर पहुंचने पर सपा प्रमुख को आजम खान ने खुद रिसीव किया। इसके बाद अखिलेश और आजम एक ही कार में बैठ कर आजम खान घर पहुंचे। गौरतलब है कि अखिलेश यादव बुधवार सुबह साढ़े 11 बजे लखनऊ से निजी विमान से रामपुर के लिए रवाना हुए। वे पहले बरेली एयरपोर्ट पर पहुंचे। वहां से हेलिकॉप्टर से दोपहर एक बजे के करीब रामपुर की जौहर यूनिवर्सिटी पहुंचे।
आजम खान की नाराजगी के चलते अखिलेश ने रामपुर से सांसद मोहिबुल्लाह नदवी को बरेली में ही छोड़ दिया। दरअसल, आजम ने मंगलवार को कहा था, ‘मैं सिर्फ अखिलेश से मिलूंगा, किसी और से नहीं। मैं रामपुर सांसद से वाकिफ नहीं हूं। मेरी उनसे कभी मुलाकात नहीं हुई’। गौरतलब है कि 23 सितंबर को आजम खान जेल से रिहा हुए थे। उस समय अखिलेश उन्हें रिसीव करने नहीं पहुंचे थे। तब आजम ने कहा था, ‘हम कोई बड़े नेता नहीं हैं। अगर बड़े नेता होते, तो बड़ा नेता लेने आता। बड़ा, बड़े को लेने आता है’। हालांकि अखिलेश यादव से मिलने के बाद उन्होंने किसी तरह की नाराजगी की खबरों को खारिज कर दिया।