नई दिल्ली। मानसून की बारिश, बाढ़, भूस्खलन और बादल फटने की घटनाओं से देश के अलग अलग हिस्सों में लाखों लोग प्रभावित हुए हैं। हिमाचल प्रदेश में मानसून शुरू होने के बाद बादल फटने की दो दर्जन घटनाएं हुई हैं। इनमें मरने वालों की संख्या 80 से ज्यादा हो गई है। सबसे ज्यादा लोगों की मौत मंडी में हुई है। उत्तराखंड में भी लगातार बारिश से भूस्खलन हो रहा है। उत्तराखंड में भारी बारिश व भूस्खलन की वजह से बद्रीनाथ यमुनोत्री हाईवे पर एक पुल बह गया है और बद्रीनाथ हाईवे बंद हो गया है।
उधर गुजरात के नवसारी में पूर्णा नदी उफान पर है। शहर के 15 से ज्यादा निचले इलाकों में कई फीट पानी भर गया है। हजारों घरों में पानी घुस गया है। छत्तीसगढ़ में पिछले तीन दिन से जोरदार बारिश हो रही है। बिलासपुर में कई इलाके डूबे हैं। कोरबा जिले में रविवार शाम 17 लोग बाढ़ में फंस गए थे। मध्य प्रदेश के मंदसौर में दो युवक गांधी सागर डैम में डूब गए। कटनी में भी एक युवक बाढ़ में बह गया।
राजस्थान के 20 से ज्यादा जिलों बारिश जारी है। दौसा में दीवार ढहने से महिला की मौत हुई। झुंझुनूं में बाघोली नदी के तेज बहाव के कारण नेशनल हाईवे नंबर 52 को जोड़ने वाली सड़क धंस गई। सोमवार को राजधानी दिल्ली और एनसीआर के कई इलाकों में भी बारिश हुई। उत्तर प्रदेश के नोएडा में तेज बारिश हुई, जिसके कारण कई निचले इलाकों के घरों में पानी भर गया। उत्तर प्रदेश में गंगा, यमुना और सरयू नदियों के जल स्तर तेजी से बढ़ रहा है, जिससे कई इलाकों में बाढ़ का खतरा मंडरा रहा है।