जिस दिन दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को प्रवर्तन निदेशालय यानी ईडी ने गिरफ्तार किया उसके बाद से ही इस बात की चर्चा थी की ईडी की हिरासत खत्म होने के बाद केजरीवाल को सीबीआई भी गिरफ्तार करेगी। लेकिन ऐसा नहीं हुआ। केजरीवाल को 21 मार्च को गिरफ्तार किया गया था और दो बार में करीब 10 दिन तक वे ईडी की हिरासत में थे। उसके बाद अदालत ने उनको न्यायिक हिरासत में दिल्ली की तिहाड़ जेल भेज दिया। पूरे अप्रैल वे न्यायिक हिरासत में रहे हैं पर सीबीआई ने उनको गिरफ्तार करने की जरुरत नहीं समझी।
इसके उलट शराब नीति से जुड़े घोटाले में दिल्ली के उप मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया को पहले सीबीआई ने ही गिरफ्तार किया था। सीबीआई ने उनको 26 फरवरी 2023 को गिरफ्तार किया था। वे भी दो बार में करीब 10 दिन तक सीबीआई की हिरासत में रहे थे और उसके बाद उनको न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया। न्यायिक हिरासत में जाने के एक दो दिन के बाद ही नौ मार्च को उनको ईडी ने गिरफ्तार कर लिया था। वे तिहाड़ जेल में थे, जब ईडी ने उनको गिरफ्तार किया।
सीबीआई द्वारा गिरफ्तार होने के 12 दिन के बाद ही ईडी ने सिसोदिया को गिरफ्तार किया, लेकिन केजरीवाल के मामले में ऐसा नहीं हुआ है। ईडी द्वारा गिरफ्तारी के डेढ़ महीने बाद भी उनको सीबीआई ने गिरफ्तार नहीं किया है। इस बीच सुप्रीम कोर्ट चुनाव प्रचार की जरुरत को देखते हुए केजरीवाल की अंतरिम जमानत याचिका पर विचार के लिए तैयार हो गया है। ऐसे में क्या सीबीआई गिरफ्तारी का कदम उठा सकती है? सीबीआई गिरफ्तार करती है तो जमानत के लिए इंतजार करना पड़ जाएगा। तभी यह बड़ा सवाल है कि जब सिसोदिया को दोनों एजेंसियों ने हिरासत में लिया तो केजरीवाल को दूसरी एजेंसी ने क्यों छोड़े रखा?