यह बहुत दिलचस्प संयोग है कि राजस्थान के श्रीगंगानगर की करणपुर सीट पर कांग्रेस जितने वोट से जीती है, आम आदमी पार्टी के उम्मीदवार को उतने ही वोट मिले हैं। तभी कहा जा रहा है कि इस बार एक सीट के चुनाव में जाने-अनजाने में आम आदमी पार्टी ने कांग्रेस की मदद कर दी। गौरतलब है कि इस सीट पर कांग्रेस ने रूपिंदर सिंह कुन्नर को चुनाव में उतारा था। रूपिंदर के पिता गुरमीत सिंह कुन्नर के निधन से इस सीट पर चुनाव टल गया था। इस सीट पर भाजपा ने सुरेंद्रपाल सिंह टीटी को उम्मीदवार बनाया था और उनकी जीत सुनिश्चित करने के लिए टीटी को पहले ही राज्य सरकार में मंत्री बना दिया था।
इसके बावजूद सुरेंद्र पाल सिंह टीटी 11,240 वोट से चुनाव हार गए। रूपिंदर सिंह कुन्नर को सहानुभूति वोट मिले। यह राज्य की नई सरकार के लिए झटका है लेकिन सबको पता है कि ऐसे मौकों पर आमतौर पर सहानुभूति फैक्टर ज्यादा काम करता है। मतदाताओं को भी पता था कि इस एक सीट के नतीजे से भाजपा की सरकार पर असर नहीं पड़ेगा। इसलिए उन्होंने कुन्नर का साथ दिया। इस सीट पर तीसरे नंबर पर आम आदमी पार्टी के पृथिपाल सिंह रहे, जिनको 11,940 वोट मिले। माना जा रहा है कि पृथिपाल सिंह ने भाजपा का वोट काटा। हालांकि उनको कुछ वोट कांग्रेस का भी मिला हो सकता है। ध्यान रहे इससे पहले माना जा रहा था कि आम आदमी पार्टी कांग्रेस के वोट काट रही है। नवंबर में हुए चुनाव में वैसे आम आदमी पार्टी का मुकाबला नोटा से था लेकिन करणपुर की सीट पर उसके उम्मीदवार को उम्मीद से ज्यादा वोट मिले और कांग्रेस जीत गई। भाजपा उम्मीदवार सुरेंद्रपाल सिंह टीटी की तरह पृथिपाल सिंह भी सिख हैं।