karnatak election

  • शिवमोगा में येदियुरप्पा बेटे की मुश्किल

    कर्नाटक में भाजपा का राजनीति पिछले ढाई तीन दशक से बीएस येदियुरप्पा के ईर्द गिर्द ही घूम रही है। पिछले साल विधानसभा चुनाव में हारने के बाद लोकसभा चुनाव के लिए भाजपा ने एक बार फिर पूरा भरोसा येदियुरप्पा पर ही किया है। लेकिन येदियुरप्पा की एकछत्र कमान बनवाने से पार्टी के अनेक नेता नाराज हैं। ऐसे ही एक नाराज नेता केएस ईश्वरप्पा ने शिवमोगा से येदियुरप्पा के बेटे बीवाई राघवेंद्र के खिलाफ चुनाव लड़ने का ऐलान कर दिया। पार्टी के शीर्ष नेताओं, नरेंद्र मोदी और अमित शाह के समझाने के बावजूद ईश्वरप्पा ने नाम वापस नहीं लिया। तभी नाम...

  • फ़्री के दौर में विधायकों की सेल !

    कर्नाटक में कांग्रेस की जीत के बाद भले यह भी कहा जा रहा हो कि भाजपा ने कांग्रेस को जीतने का मौक़ा दिया ताकि 2024 की जीत के समय यह न कहा जाए कि भाजपा ईवीएम में गड़बड़ी करके जीती है। लेकिन नए संसद भवन के उद्धाटन के बाद हुई भाजपा शासित राज्यों के मुख्यमंत्रियों की बैठक में साफ़ कर दिया गया कि पार्टी यह चुनाव स्थानीय मुद्दों का समाधान न कर पाने की वजह से हारी थी। भाजपा के ही एक पूर्व सांसद पर भरोसा किया जाए संसद भवन के उद्घाटन के बाद हुई भाजपा की इस मीटिंग को...

  • मतदाताओं ने पूरे देश को मैसेज दिया!

    लोकतंत्र में लोक ही अपने वोटसे नीति का तंत्र चलाता है। जनता बेशक अलग-अलग राज्य, अलग-अलग पंथ-जमात या अलग-अलग मान-मर्यादा से जुड़ी हो मगर सम्मान, सौहार्द और सद्भाव ही सभी का नैसर्गिक व्यवहार है। जनसेवकों को यह अच्छे से जान लेना चाहिए की जनतंत्र में जनता ही जनार्दन है। सत्ताएं बेशक जो समझें मगर लोकतंत्र तो लोक के मत से ही चलता-बनता है। और लोक का मत अपने समय पर ही बनता-बिगड़ता है। दुनिया के सबसे विशाल लोकतंत्र भारत में चुनाव चलते ही रहते हैं। इसलिए जनसेवकों को लगातार जनता के सामने हाथ जोड़कर वोट मांगने जाना ही पड़ता है।...

  • रमेश से ज्यादा प्रभावी रणदीप

    कांग्रेस के महासचिव और संचार विभाग के प्रमुख जयराम रमेश कर्नाटक के रहने वाले हैं। लेकिन कर्नाटक के चुनाव और उसके बाद चले राजनीतिक नाटक में उनकी कोई खास भूमिका नहीं रही। उनसे ज्यादा महत्वपूर्ण और प्रभावी भूमिका पार्टी के महासचिव और राज्य के प्रभारी रणदीप सुरजेवाला ने निभाई। कांग्रेस नेताओं के मुताबिक दोनों के बीच काफी समय से शीतयुद्ध के हालात है क्योंकि रणदीप को हटा कर ही रमेश को कांग्रेस संचार विभाग का प्रभारी बनाया गया था। उसके बाद से लगातार यह प्रचार हुआ कि रणदीप सुरजेवाला सिर्फ अपना प्रचार करते थे, जबकि रमेश पार्टी की छवि बना...

  • कांग्रेस ने साधा जातियों का संतुलन

    कर्नाटक में कांग्रेस को जातियों का संतुलन साधने की चुनौती पैदा हो गई है। पहले कहा जा रहा था कि कांग्रेस तीन उप मुख्यमंत्री बनाएगी। इससे सभी जातियों का बराबर प्रतिनिधित्व हो जाएगा। अब सिर्फ एक उप मुख्यमंत्री बनाने का फैसला हुआ है क्योंकि शिवकुमार ने यह शर्त रख दी थी कि वे उप मुख्यमंत्री का पद तभी संभालेंगे, जब अकेले उप मुख्यमंत्री बनेंगे। सो, अब ओबीसी समुदाय से आने वाले सिद्धरमैया मुख्यमंत्री बनेंगे और वोक्कालिगा समुदाय से डीके शिवकुमार उप मुख्यमंत्री बनेंगे। शिवकुमार प्रदेश अध्यक्ष भी बने रहेंगे। तभी ओबीसी और वोक्कालिगा के अलावा बाकी जातियों का संतुलन बनाना...

  • कर्नाटक में नफरत हारी है- सारे देश में नहीं, कांग्रेस सजग रहे…

    भोपाल। मोदी जी और बीजेपी के भारी भरकम चुनाव प्रचार और नफरत के बोल के बाद भी भारतीय जनता पार्टी की पराजय भी मोदी और शाह की जोड़ी को यह नहीं सीखा पाई है कि भय और आतंक से लोगों के मन को नहीं जीता जाता है। अपनी विजय पर दूसरों को नीचा दिखाने और स्वयं को महाबली बताने का स्वर आज दक्षिण के द्वार से पराजित हो कर निकली पार्टी ने अब मोदी सरकार की नौ साल की उपलब्धियों का प्रचार करने के लिए तीस दिनी कार्यक्रम की घोषणा करके अपने “काडर” को व्यस्त रखने की जुगत निकाली है।...

  • स्टालिन के बयान का बड़ा मतलब

    कर्नाटक में कांग्रेस की जीत पर वैसे तो सभी विपक्षी पार्टियों के नेताओं ने बयान जारी किया लेकिन तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एमके स्टालिन का बयान राजनीतिक रूप से बहुत महत्व वाला है। इससे दक्षिण भारत की राजनीति का अंदाजा होता है। उन्होंने कांग्रेस को जीत की बधाई देते हुए यह भी कहा कि द्रविडियन धरती से भाजपा की विदाई हो गई। उन्होंने अपने बधाई संदेश में भाजपा की हार के कई कारण भी गिनाए, जिनमें एक कारण यह भी बताया कि भाजपा हिंदी थोपने की कोशिश कर रही थी। ध्यान रहे कुछ समय पहले कर्नाटक में मेट्रो स्टेशनों के नाम...

  • प्रादेशिक क्षत्रपों के लिए शुभ संकेत

    कर्नाटक के चुनाव नतीजे कांग्रेस और भाजपा दोनों के प्रादेशिक क्षत्रपों के लिए शुभ संदेश लेकर आए हैं। कांग्रेस ने अपने दोनों प्रादेशिक क्षत्रपों- सिद्धरमैया और डीके शिवकुमार के ऊपर भरोसा किया और उनको चुनाव लड़ाने का जिम्मा सौंपा तो उसका नतीजा सबके सामने है। ये दोनों बड़े और मजबूत नेता हैं। इनका अपना जमीनी जनाधार है। ये दोनों कांग्रेस का चेहरा हैं। एक और चेहरा मल्लिकार्जुन खड़गे का भी है, जिन्होंने जी-जीन से कर्नाटक में प्रचार किया। सो, कांग्रेस के लिए यह सबक है कि वह बाकी प्रदेशों में भी आलाकमान को थोपने की बजाय प्रादेशिक क्षत्रपों पर भरोसा...

  • इतना भी क्या चुनाव-पिपासु होना नरेंद्र भाई!

    कर्नाटक का आज का रुख तय करेगा कि दक्षिण-विजय के नरेंद्र भाई के सपने का आगे क्या होने वाला है? दक्षिण में कर्नाटक से ज़्यादा उम्मीद भाजपा फ़िलहाल और कहां से लगा सकती है? अगर कर्नाटक ने भाजपा को आज नाउम्मीद कर दिया तो तमिलनाडु, केरल, आंध्र प्रदेश और तेलंगाना क्यों उसे गले लगाने को हुलसेंगे? तब दक्षिण का रास्ता भाजपा के लिए आज के बाद और लंबा हो जाएगा।वैसे तो पिछले नौ साल में नरेंद्र भाई ने प्रादेशिक चुनावों के प्रचार में अपनी भागदौड़ की झड़ी लगा रखी है, मगर कर्नाटक में अपने प्रधानमंत्री का भीषण चुनाव-पिपासु रूप देख...

  • एक्जिट पोल में पहले ऐसे नहीं हारी भाजपा!

    हाल के कुछ बरसों में यह संभवतः पहला मौका है, जब किसी चुनाव के बाद हुए एक्जिट पोल में निर्णायक ढंग से भाजपा को हारते दिखाया गया है। इससे पहले कम से कम एक्जिट पोल में भाजपा को स्पष्ट रूप से हारते हुए नहीं दिखाया जाता था। जिस राज्य में भी भाजपा मुख्य मुकाबले में होती है वहां से उसे जीतते दिखाया जाता है। अगर चुनाव प्रचार या आम मतदाताओं के व्यवहार से बनी धारणा के आधर पर यह स्पष्ट हो कि भाजपा नहीं जीत रही है तब भी उसे कम से कम जीत के नजदीक तक जाते जरूर दिखाया...

  • मतदान के दिन होगी मोदी की रैली

    प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पिछले कई बरसों से या केंद्र की राजनीति में आने के बाद से ही यह नियम बनाया है कि जिस दिन कहीं भी मतदान होगा उस दिन वे जरूर कोई रैली या सभा करेंगे। आमतौर पर बड़े राज्यों में कई चरण में मतदान होता है तो वे एक चरण के मतदान के दिन दूसरे चरण वाले इलाके में रैली करते हैं। इसका सीधा मकसद मतदान को प्रभावित करना होता है। इसमें कानूनी या तकनीकी रूप से कुछ भी गलत नहीं है लेकिन राजनीतिक नैतिकता के लिहाज से इसे ठीक नहीं कह सकते हैं। आखिरी इसी वजह...

  • बोम्मई ने हनुमान चालीसा का पाठ किया

    बेंगलुरु/हुब्बली। कर्नाटक के मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई और कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष डी.के. शिवकुमार ने मतदान से एक दिन पहले मंगलवार को आंजनेय मंदिरों का दौरा किया। बोम्मई, हुब्बली में विजयनगर स्थित मंदिर में श्रद्धालुओं के साथ हनुमान चालीसा का पाठ किया। वहीं, शिवकुमार बेंगलुरु स्थित के.आर मार्केट स्थित मंदिर गये और पूजा-अर्चना की। बजरंग दल को प्रतिबंधित करने के लिए कांग्रेस के चुनाव घोषणापत्र में किये गये प्रस्ताव से उपजे विवाद के मद्देनजर ये यात्राएं मायने रखती हैं। भाजपा और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, दोनों ने ही इस मुद्दे का इस्तेमाल कांग्रेस पर भगवान आंजनेय और हिंदुओं की भावनाओं के खिलाफ...

  • कांग्रेस की मान्यता रद्द हो: भाजपा

    बेंगलुरु/नई दिल्ली। भाजपा ने चुनाव आयोग से कहा है कि चुनाव प्रचार के दौरान कर्नाटक के लिए सोनिया गांधी द्वारा‘संप्रभुता’ शब्द के इस्तेमाल पर कांग्रेस की पार्टी की मान्यता रद्द करने की मांग की है। भाजपा ने वरिष्ठ कांग्रेस नेता के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज करने और दंडात्मक कार्रवाई करने का निर्देश जारी करने का भी अनुरोध किया है। केंद्रीय मंत्री भूपेंद्र यादव के नेतृत्व में भाजपा के एक प्रतिनिधिमंडल ने आयोग को एक ज्ञापन भी सौंपा। पार्टी ने कहा, ‘कर्नाटक भारत संघ में एक बहुत ही महत्वपूर्ण सदस्य राज्य है और भारत संघ के सदस्य राज्य की संप्रभुता की रक्षा...

  • राष्ट्रीय मुद्दे कोई नहीं उठा रहा

    कर्नाटक विधानसभा चुनाव कई मायने में बहुत अनोखा है। उसके अनोखेपन का एक पहलू यह है कि किसी भी पार्टी का नेता राष्ट्रीय मुद्दे नहीं उठा रहा है। यहां तक कि अपने राष्ट्रीय नेतृत्व के नाम पर चुनाव लड़ रही भाजपा भी कोई राष्ट्रीय मुद्दा नहीं उठा रही है। हो सकता है कि कोई भी पार्टी असली मुद्दा नहीं उठा रही है इसलिए राष्ट्रीय मुद्दे भी सामने नहीं आ रहे हैं। भाजपा को चिंता है कि अगर असली मुद्दे उठाए गए तो उन पर जवाब देना होगा। दूसरी ओर कांग्रेस को लग रहा है कि अगर असली और राष्ट्रीय मुद्दे...

  • प्रियांक खड़गे के खिलाफ भाजपा प्रत्याशी की कहानी

    कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे के बेटे प्रियांक खड़गे के खिलाफ चित्तपुर सीट पर भाजपा ने एक हिस्ट्रीशीटर मणिकांत राठौड़ को टिकट दिया है। उन्हीं मणिकांत राठौड़ का एक ऑडियो कांग्रेस नेता रणदीप सुरजेवाला ने प्रेस कांफ्रेंस में सुनाया। इस ऑडियो में राठौड़ भाजपा के एक दूसरे नेता रवि से बात कर रहे हैं और कथित तौर पर खड़के के पूरे परिवार को साफ करने का दावा कर रहे हैं। अब इसमें कितनी सचाई है, इसका पता तो जांच से चलेगा लेकिन भाजपा के इस उम्मीदवार की कहानी बहुत दिलचस्प है। उसका एक वीडियो भी सोशल मीडिया में वायरल हो रहा...

  • देश तोड़ना चाहती है कांग्रेस- मोदी

    बेंगलुरू। कांग्रेस के आतंकवादी नेटवर्क से जुड़े होने के आरोपों के बाद अब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आरोप लगाया है कि कांग्रेस देश तोड़ना चाहती है। उन्होंने सोनिया गांधी के एक भाषण का हवाला देते हुए कहा कि कांग्रेस खुल कर कर्नाटक को भारत से अलग करने की वकालत कर रही है। उन्होंने रविवार को बेंगलुरू में रोड शो किया और चार चुनावी रैलियों को संबोधित किया। कर्नाटक विधानसभा चुनाव के लिए अपनी आखिरी रैली में उन्होंने ‘जहरीला सांप’ से तुलना करने वाले मल्लिकार्जुन खड़गे को निशाना बनाते हुए मोदी ने कहा कि उनको विष पीने की शक्ति हासिल है।...

  • आखिरी चरण में फिर राहुल व प्रियंका का प्रचार

    बेंगलुरू। कांग्रेस की तरफ से कर्नाटक चुनाव के लिए प्रचार के आखिरी चरण में राहुल गांधी और प्रियंका गांधी वाड्रा ने कमान संभाली। गौरतलब है कर्नाटक विधानसभा चुनाव के लिए सोमवार को प्रचार का आखिरी दिन है। सोमवार की शाम तक राहुल और प्रियंका को सात रैलियां और कुछ रोड शो करने हैं। इसमें से सात मई यानी रविवार को राहुल ने अनेकल और पुलकेशी नगर में सभा को संबोधित किया, वहीं प्रियंका ने पहले मूडबिद्री में एक रैली की और फिर महादेव पुरा और बेंगलुरु साउथ में रोड शो निकाला। राहुल गांधी ने रविवार की सुबह बेंगलुरू में हुई...

  • अडानी बनाम अंबानी के चैनल का सर्वे!

    कर्नाटक विधानसभा चुनाव को लेकर कई सर्वे आ गए हैं। आठ मई को प्रचार बंद होने से पहले तक कुछ और सर्वे आएंगे। चुनाव पूर्व हो रहे इन सर्वेक्षणों के अनुमान बहुत अलग अलग हैं। आमतौर पर सर्वेक्षणों में इतना फर्क नहीं होता है, जितना इस बार दिख रहा है। इस बार कुछ चैनल कांग्रेस की पूर्ण बहुमत से जीत बता रहे हैं तो कुछ सर्वेक्षण पूर्ण बहुमत से भाजपा को जीतते बता रहे हैं। दोनों पार्टियां अलग अलग मीडिया समूहों और सर्वेक्षण करने वाली एजेंसियों के आंकड़े अपनी बढ़त दिखाने के लिए पेश कर रहे हैं। इनमें सबसे दिलचस्प...

  • उफ! अब बजरंग बली भी दांव पर

    ईश्वर ही मालिक है नरेंद्र मोदी और उनकी लंगूर सेना का! आखिर हिंदू इष्ट देवताओं के नाम के कटोरों से वोट मांगना क्या पाप की हद नहीं है? आखिरहिंदुओं को कितना उल्लू बनाएंगे? रामजी, शिवजी, बजरंग बली, मां गंगा आदि के नाम ले-लेकर नौ सालों में प्रधानमंत्री मोदी ने भगवानजी को जितना बेचा है क्या कोई उसका हिसाब है? कभी किसी का बेटा बन कर, कभी गले का सांप बन कर, कभी रामजी कैद तो कभी बजरंग बली के कैदी होने के डर बनवा कर, जैसे वोट मांगे जा रहे हैं तो क्या यह इस बात का प्रमाण नहीं कि...

  • कांग्रेस की किस्मत का क्या यू टर्न?

    कर्नाटक के विधानसभा चुनाव में कई घटनाएं हो रही हैं। कुछ सतह पर हैं, जो सबको दिखाई दे रही हैं और कुछ सतह के नीचे चल रही हैं, जिसकी आहट तो महसूस की जा रही है लेकिन उसके दूरगामी असर का अंदाजा अभी नहीं लगाया जा रहा है। कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे और उनके बेटे प्रियांक खड़गे ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर जो हमला किया उसे बेंगलुरू से लेकर दिल्ली तक सुना गया है। वह तात्कालिक राजनीतिक नफा-नुकसान के आकलन से परे एक बड़े राजनीतिक गेमप्लान का हिस्सा हो सकता है। इसी तरह कांग्रेस के घोषणापत्र में बजरंग दल के...

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