honeytrap case : कर्नाटक में हनीट्रैप का मामला तूल पकड़ता जा रहा है लेकिन हैरानी की बात है कि एक हफ्ते से ज्यादा समय से इसकी चर्चा हो रही है और पुलिस की एंट्री नहीं हुई है।
जैसा कि कांग्रेस सरकार के सहकारिता मंत्री राजन्ना दावा कर रहे हैं कि 48 नेताओं की सीडी और पेन ड्राइव बनी हुई है, जिसमें केंद्रीय मंत्री भी हैं तो वे इस मामले की शिकायत पुलिस से क्यों नहीं कर रहे हैं?
उनकी अपनी सरकार है और वे मुख्यमंत्री सिद्धारमैया के सबसे करीबी नेताओं में गिने जाते हैं। दोनों कांग्रेस में आने से पहले जनता दल में साथ रहे हैं। (honeytrap case)
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हनीट्रैप का रैकेट पूरे देश में (honeytrap case)
अगर इस मामले में पुलिस की एंट्री में देरी हुई है तो उसका कारण यह है कि यह मामला कांग्रेस में चल रहे अंदरूनी विवाद से जुड़ा हुआ है। (honeytrap case)
इस मामले को सुलझाने के लिए रविवार को कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने मुख्यमंत्री सिद्धारमैया से मुलाकात की। मुख्यमंत्री के आधिकारिक आवास पर यह मुलाकात हुई, जिसमें खड़गे के बेटे और राज्य सरकार के मंत्री प्रियांक खड़गे भी शामिल हुए।
दूसरी ओर उप मुख्यमंत्री डीके शिवकुमार ने इस मसले पर चुप्पी साधी हुई है। वे कुछ नहीं बोल रहे हैं। एक तरफ वे चुप हैं और दूसरी ओर सिद्धारमैया का खेमा इसे राष्ट्रीय मुद्दा बनाने में लगा है। (honeytrap case)
कहा जा रहा है कि हनीट्रैप का रैकेट पूरे देश में फैला हुआ है। क्या सिद्धारमैया खेमा इसमें केंद्रीय एजेंसियों को शामिल कराना चाहता है? अगले कुछ दिन में इसमें कुछ और दिलचस्प खुलासे होंगे।